डिप्टी कमिश्नर लेबर का मीडिएटर भोपाल में रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया
आरोप है कि मंडल के डिप्टी कमिश्नर लेबर एस एस दीक्षित ने गौरव शर्मा से बिल का भुगतान (payment) करने के लिए डेढ़ लाख की रिश्वत (bribe) मांगी थी
बिल का पेमेंट देने के लिए रिश्वत
भोपाल लोकायुक्त एसपी मनु व्यास ने बताया कि ग्वालियर, जबलपुर, इंदौर और भोपाल के श्रमोदय विद्यालय का संचालन मप्र संनिर्माण कर्मकार मंडल करता है. आरोप है कि मंडल के डिप्टी कमिश्नर लेबर एस एस दीक्षित ने गौरव शर्मा से बिल का भुगतान करने के लिए डेढ़ लाख की रिश्वत मांगी थी.
ऐसे किया ट्रेप…मुंबई में रहने वाले गौरव शर्मा ने भोपाल लोकायुक्त को शिकायत की थी कि उनकी फर्म के पास श्रमोदय विद्यालय, बेटमा इंदौर की मेस का ठेका है.स्कूल के हॉस्टल में 800 बच्चे हैं. फर्म को मेस के संचालन के लिए 15 लाख के बिल का भुगतान किया जाना था. इसी भुगतान के लिए गौरव शर्मा ने डिप्टी कमिश्नर दीक्षित से मुलाकात की. लेकिन बिल का भुगतान नहीं हो सका. गौरव का आरोप है कि डिप्टी कमिश्नर ने 15 लाख के बिल के भुगतान के लिए उनसे मीडिएटर के जरिए डेढ़ लाख रुपए की रिश्वत मांगी. घूस न देने पर बिल का पेमेंट रोकने की धमकी दी गयी. लोकायुक्त पुलिस ने इस शिकायत को गंभीरता से लिया और मामले की प्राथमिक जांच करने के बाद कार्रवाई की प्लानिंग की.
मीडिएटर के जरिए रिश्वत…
लोकायुक्त पुलिस ने बताया कि इस केस में डिप्टी लेबर कमिश्नर दीक्षित को भी आरोपी बनाया है. वो मध्य प्रदेश संनिर्माण कर्म कल्याण मंडल में पदस्थ हैं. एसएस दीक्षित ने 15 लाख के भुगतान के लिए श्रमोदय विद्यालय भोपाल में मेस चलाने वाले विपुल शर्मा के माध्यम से गौरव से डेढ़ लाख की रिश्वत की मांगी थी. लोकायुक्त पुलिस के कहने पर फरियादी गौरव शर्मा ने रिश्वत की पहली किस्त के तौर पर एक लाख रुपए देने के लिए विपुल शर्मा को क्राइम ब्रांच थाने के पास बुलाया. जब विपुल पैसे लेने पहुंचा तो पहले से घेराबंदी कर बैठी लोकायुक्त पुलिस की टीम ने रिश्वत लेते हुए उसे रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया. विपुल शर्मा दो गाड़ियों में अपने साथियों के साथ आया था. लोकायुक्त पुलिस ने इस मामले में दीक्षित को भी आरोपी बनाया है. अब पुलिस इस रिश्वत कांड के बारे में उनसे पूछताछ करेगी.
First published: June 20, 2020, 3:37 PM IST