इंदौर7 मिनट पहले
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इस प्रकार बाइक पर कैनोपी लगाकर छोटे-छोटे अमाउंट के लोन दिलवाने का झांसा देकर लोगों के दस्तावेजों पर खुद लोन लेकर ठगी कर लेता था।
- आधा दर्जन सिम रख कर लोगों के आधार कार्ड व पैन कार्ड पर लोन लेकर बिगाड़ रहा है उनका सिबिल स्कोर (रिकाॅर्ड)
सड़क पर खड़े होकर पैन व आधार कार्ड लेकर चंद मिनटों में लोन दिलवाने के नाम पर ठगी करने वाले एक युवक को सायबर सेल ने गिरफ्तार किया है। युवक इंडिया बुल्स के नाम पर लोन दिलवाने के नाम पर 8 से 10 लोगों से हजारों की ठगी कर चुका है। कई लोगों के दस्तावेज लेकर ये उनका सिबिल रिकॉर्ड भी खराब कर चुका है। पुलिस इस प्रकरण में इंडिया बुल्स के संचालकों को भी नोटिस देकर पूछताछ करेगी।
एसपी सायबर सेल जितेंद्र सिंह ने बताया सुरेशचंद्र पिता अमर सिंह निवासी बिजलपुर है। इसके खिलाफ 7 मार्च 2020 को गारी पिपलिया के रहने वाले जीवन पिता रमेश पटेल ने शिकायत दर्ज करवाई थी कि उसे इसने इंडिया बुल्स में लोन दिलवाने के नाम पर ठगा है। उसके दस्तावेज लेकर आरोपी ने उसके नाम पर पोस्ट ऑफिस में खाता खुलवाया और फिर 3 हजार रुपए का फर्जी लोन ले लिया था।
टीआई अम्बरीश मिश्रा ने जांच की तो पता चला आरोपी रिंग रोड या बायपास पर बाइक पर कैनोपी लगाकर इंडिया बुल्स के नाम पर लोन दिलवाने का बैनर लगाकर लोगों को आकर्षित करता है, फिर चंद मिनटों में छोटे-छोटे अमाउंट के लोन दिलवाने का झांसा देकर उनके दस्तावेजों पर खुद लोन ले कर ठगी कर लेता है।
ऐसे निकाले रुपए
आरोपी ने फरियादी जीवन पटेल से आधार कार्ड, पैन कार्ड व फोटो लेने के बाद इंडियन पोस्ट पेमेंट बैंक के एप के जरिए उसका एक ऑन लाइन खाता खुलवाया। फिर उस खाते में अपना मोबाइल नंबर रजिस्टर्ड कर दिया। इसके बाद उसने 4 हजार रुपए के लोन के लिए एप्लाई किया तो बैंक कि ओर से उसे 3 हजार रुपए खाते में आ गए। इसके बाद उसने अपने रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर के आधार पर पेटीएम के जरिए दूसरी बैंक में रुपए ट्रांसफर कर निकाल लिए। वहीं, जीवन के नाम पर लोन चढ़ गया। बाद में उसकी किश्त भी नहीं भरी। इधर, बैंक से जीवन को लोन के नोटिस आए तो उसे धोखाधड़ी का पता चला। आरोपी ने पूछताछ में बताया कि उसके पास कई अलग-अलग नंबरों की सिम है, जिससे उसने करीब 8 से 10 लोगों के साथ इसी तरह का लोन निकालकर धोखाधड़ी की है।
इंडिया बुल्स के नाम पर एक बड़ा रैकेट सक्रिय
शहर में इंडिया बुल्स के नाम पर कई ऐसे ही एजेंट सक्रिय हैं जो लोगों के दस्तावेजों पर उनके नाम से लोन लेकर अपने फर्जी नंबर उनके खातों में रजिस्टर करवा देते हैं और फिर उनके नाम पर 3, 5 10 और 20 हजार तक के लोन निकाल लेते हैं। इससे उन पर लोन तो चढ़ ही जाता है, लेकिन उनका महत्वपूर्ण सिबिल रिकाॅर्ड भी बिगड़ जाता है। कई सॉफ्टवेयर इंजीनियर, व्यापारी और किसानों के दस्तावेजों को फर्जी ढंग से उपयोग कर ऐसे सक्रिय एजेंटों ने लोन लेकर लोगों का सिबिल स्कोर बिगाड़ दिया है। इसकी शिकायत कुछ समय पूर्व तुकोगंज थाने में भी दर्ज हुई थी, लेकिन पुलिस ने गंभीरता से जांच नहीं की। आज कई लोग इस तरह के फ्रॉड से पीड़ित हैं।
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