…तो क्या MP उपचुनाव से पहले कमजोर पड़ रही कांग्रेस से फायदे में रहेगी BJP? | bhopal – News in Hindi

…तो क्या MP उपचुनाव से पहले कमजोर पड़ रही कांग्रेस से फायदे में रहेगी BJP? | bhopal – News in Hindi


कांग्रेस नेतृत्व पर सवाल खड़े हो रहे हैं. (File Photo)

पूर्व मंत्री उमंग सिंगार (Umag Sengar) ने एक ट्वीट (Tweet के जरिए पार्टी के अंदर सियासी हलचल को तेज कर दिया है. सिंगार ने लिखा है कि आज का वक्त खुद को नेता बनाने का नहीं बल्कि पार्टी और संगठन को मजबूत करने का है.

भोपाल. मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की सियासत में इन दिनों दलबदल का सिलसिला लगातार जारी है. बीते 6 दिनों में कांग्रेस (Congress) के 2 विधायकों ने विधायकी पद छोड़कर बीजेपी (BJP) का दामन थाम लिया है. बड़ा मलहरा से कांग्रेस विधायक प्रदुम सिंह लोधी और बुरहानपुर की नेपानगर विधानसभा सीट से सुमित्रा देवी ने दल बदल कर बीजेपी को अपनी पार्टी बना लिया है. वहीं, कांग्रेस पार्टी में विधायकों के दल बदल करने पर अब पार्टी नेताओं की भूमिका पर सवाल उठना तेज हो गया है. पूर्व मंत्री उमंग सिंगार ने एक ट्वीट के जरिए पार्टी के अंदर सियासी हलचल को तेज कर दिया है. सिंगार ने लिखा है कि आज का वक्त खुद को नेता बनाने का नहीं बल्कि पार्टी और संगठन को मजबूत करने का है. उमंग ने पार्टी में राजशाही और सामंत शाही के हावी होने की भी बात कही है.

उमंग सिंगार ने कहा है जिस तरह आज ज्योतिरादित्य सिंधिया और सचिन पायलट जैसे नेता जो महत्वाकांक्षा रखते है और पार्टी संगठन को दूसरे पायदान पर रखते हैं. उन लोगों से मेरा यही कहना है कि आपको पार्टी ने नेता बनाया था, आप नेता नहीं थे. हालांकि, माना जा रहा है कि उमंग सिंगार का इशारा प्रदेश के बड़े नेता दिग्विजय सिंह और राष्ट्रीय स्तर के नेताओं की तरफ था. वही, उमंग सिंगार के बयान के समर्थन में पूर्व मंत्री डॉ. गोविंद सिंह भी आ गए हैं. डॉ. गोविंद सिंह ने कहा है की बीजेपी कांग्रेस विधायकों के लिए चारागाह बन गई है. संपत्ति बनाने के लिए नेता राजनीति में आ रहे हैं. जन सेवा के लिए नहीं.

‘कांग्रेस का संगठन बेहद कमजोर’

डॉ. गोविंद सिंह ने विधायकों के जाने को संगठन की कमजोरी बताया है. कांग्रेस विधायक के मुताबिक जिला स्तर पर कांग्रेस का संगठन बेहद कमजोर है और इस पर पार्टी को ध्यान देने की जरूरत है. पार्टी में कोई कमी जरूर है तभी विधायक दल बदल कर दूसरी पार्टी में जाने का काम कर रहे हैं. डॉ. गोविंद सिंह ने पार्टी नेताओं को इस बात की सलाह दी है कि भाईचारा और व्यवहार के जरिए विधायकों को रोकने के लिए कदम उठाना चाहिए. साथ ही डॉ. गोविंद सिंह ने कांग्रेस पार्टी को लेट करने के लिए राहुल गांधी के नाम पर कहा है कि पार्टी में अब जरूरत सामूहिक नेतृत्व की है जिसके जरिए पार्टी को दोबारा खड़ा किया जा सके.ये भी पढ़ें: नेपाल का नया विवाद, बिहार बॉर्डर के इस इलाके पर ठोका दावा, सेना अलर्ट

नेतृत्व पर उठ रहे सवाल

वही,  कांग्रेस के अंदर कमजोर संगठन पर पार्टी नेतृत्व को लेकर उठ रहे सवालों के बीच कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में शामिल हुए कैबिनेट मिनिस्टर प्रभु राम चौधरी ने कहा है कि कांग्रेस पार्टी को इस समय आत्म अवलोकन करने की जरूरत है. पार्टी को इस बारे में विचार करना चाहिए कि आखिर कौन से कारण हैं जिनकी वजह से कांग्रेस के नेता पार्टी छोड़कर बीजेपी में शामिल हो रहे हैं.

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बीजेपी को मिल सकता है फायदा

बहरहाल, कांग्रेस की कमजोरी का फायदा बीजेपी को मिल रहा है. प्रदेश में 1 हफ्ते पहले तक 24 विधानसभा सीट पर उपचुनाव होना था. लेकिन अब इसमें 2 सीटों का इजाफा हो गया है. जिस तरीके से बीजेपी के नेता दावा कर रहे हैं कि कुछ और कांग्रेस विधायक पार्टी छोड़कर बीजेपी में शामिल हो सकते हैं इसके बाद कांग्रेस के अंदर कमजोर संगठन को लेकर सवाल उठना तेज हो गए हैं.





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