नई दिल्ली: टीम इंडिया को आईसीसी का हर खिताब दिलाने वाले इकलौते भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धोनी (MS Dhoni) ने इंटरनेशनल क्रिकेट से नाता क्या तोड़ा हर तरफ उनके फेयरवेल मैच की चर्चा शुरू हो गई. पिछले एक साल से धोनी क्रिकेट मैदान पर नजर नहीं आए थे, ऐसे में झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन और माही के फैंस बीसीसीआई से आग्रह कर रहे हैं कि धोनी के लिए एक विदाई मैच का आयोजन कराया जाए. लेकिन पूर्व IPL चैयरमैन राजीव शुक्ला ने एक ऐसी वजह बताई है, जिससे यह साफ होता है कि महेंद्र सिंह धोनी का विदाई मैच नहीं हो सकता है.
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दरअसल राजीव शुक्ला ने समाचार एजेंसी एएनआई को दिए इंटरव्यू के दौरान बताया है कि महेंद्र सिंह धोनी ने कभी भी बीसीसीआई से रिटायरमेंट के बाद अपने विदाई मैच की इच्छा व्यक्त नहीं की. इस आधार पर धोनी के फेयरबेल मैच का कोई सवाल ही नहीं बनता. क्योंकि खुद एमएस धोनी ऐसा नहीं चाहते. दरअसल राजीव शुक्ला का यह बयान झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को लेकर आया है, जिन्होंने शनिवार को बीसीसीआई से आग्रह किया था कि वह धोनी के लिए एक विदाई मैच का बंदोबस्त कराए. हालांकि राजीव शुक्ला का यह बयान हेमंत सोरेन और धोनी के प्रसंशकों का काफी मायूस कर सकता है.
Dhoni never expressed any will to BCCI for a farewell match for him. Since he never raised it, there’s no question of any such match: Former IPL Chairman Rajiv Shukla on Jharkhand CM suggesting a farewell match for M S Dhoni, who announced retirement from international cricket pic.twitter.com/IVoXqgUWBM
— ANI (@ANI) August 16, 2020
रांची के राजकुमार महेंद्र सिंह धोनी ने देश के साथ अपने राज्य झारखंड (उस समय बिहार) के लिए काफी घरेलू क्रिकेट खेला. 39 साल के धोनी ने घरेलू सर्किट के आधार पर ईस्ट जोन और झारखंड के प्रतिनिधित्व करते हुए 131 फर्स्ट क्लास मैच खेले, जिनमें माही ने 36.84 की औसत से 7,038 रन बनाए. साल 2004 में धोनी इंटरनेशनल क्रिकेट में डेब्यू किया था. उसके बाद धोनी ने अपने शांत स्वभाव कौशल टीम नेतृत्व के तहत भारतीय क्रिकेट को शिखर की ऊंचाईयों तक पहुंचा.
मौजूदा समय में धोनी विश्व क्रिकेट से सबसे सफल कप्तानों में शामिल है. कप्तानी के सुनहरे दौर की शुरुआत साल 2007 में टी20 वर्ल्ड कप जीत के साथ हुई. इसके बाद धोनी का यह कारवां नहीं रुका और साल 2011 का वनडे वर्ल्ड कप, 2013 में आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफी के विजेता बनने तक चलता रहा. इसके अलावा साल 2009 में धोनी की अगुवाई में ही टीम इंडिया पहली बार टेस्ट में नंबर बनी था. धोनी के दौर में भारत की टेस्ट बादशाहत 600 दिनों तक चली. तो वहीं धोनी ने अपनी कप्तानी में भारत को घरेलू सरजमीं पर सबसे अधिक 21 जीत दिलाई हैं.
भारत के सफल कप्तान के अलावा माही टीम इंडिया के सबसे सफल विकेटकीपर भी रहे हैं. धोनी ने विकेट के पीछे सबसे तेज हाथ चलाते हुए सबसे अधिक 195 स्टंप करने के वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया है. साथ ही धोनी ने सबसे अधिक 332 इंटरनेशनल मैचों में कप्तानी का भी रिकॉर्ड बनाया है. इसके साथ ही धोनी ने 350 वनडे में 10,773 रन बनाए हैं, जिसमें साल 2005 में श्रीलंका के विरूद्ध धोनी का बेस्ट स्कोर नाबाद 183 रन है, वनडे क्रिकेट में किसी भी विकेटकीपर की ओर से खेली गई सबसे बड़ी पारी है.
वहीं 98 टी20 अंतरराष्ट्रीय में धोनी के नाम 1,617 रन हैं, जो 37.60 की औसत से आए हैं. साल 2014 में टेस्ट क्रिकेट से संन्यास से पहले माही ने 90 टेस्ट में 38.09 की औसत से 4,876 रन बनाए थे. धोनी को क्रिकेट के मैदान पर हमेशा उनके बेहतरीन खेल और कप्तानी के लिए याद रखा जाएगा. हालांकि धोनी आईपीएल 2020 में चेन्नई सुपरकिंग्स की तरफ से खेलते दिखाई देंगे. जिसकी शुरुआत 19 सिंतबर को मुंबई इंडियंस के विरुद्ध होगी.