परीक्षा में शामिल होने के लिए स्कूटर चलाकर झारखंड से ग्वालियर पहुंचा दंपति, अब अडानी ग्रुप ने दिया फ्लाइट टिकट | godda – News in Hindi

परीक्षा में शामिल होने के लिए स्कूटर चलाकर झारखंड से ग्वालियर पहुंचा दंपति, अब अडानी ग्रुप ने दिया फ्लाइट टिकट | godda – News in Hindi


धनंजय ने प्रशासन का धन्यवाद देते हुए कहा कि जिलाधिकारी ने उनकी काफी मदद की है.

मीडिया से बात करते हुए धनंजय ने बताया कि अडानी ग्रुप ने उनकी मदद की है. अडानी ग्रुप (Adani Group) ने अब घर वापस जाने के लिए उन्हें फ्लाइट टिकट दिया है.


  • News18Hindi

  • Last Updated:
    September 7, 2020, 8:18 AM IST

ग्वालियर. मध्य प्रदेश के ग्वालियर (Gwalior) में एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है. यहां पर परीक्षा देने के लिए एक दंपति झारखंड (Jharkhand) से ग्वालियर पहुंच गया. खास बात यह है कि दंपति (Couple) स्कूटर चलाकर झारखंड के गोड्डा (Godda) जिले से ग्वालियर पहुंचा है. यहां तक पहुंचने में दंपति को कई घंटों का सफर करना पड़ा. इस दौरान रास्ते में काफी परेशानियों का भी सामना करना पड़ा, लेकिन दोनों ने हिम्मत नहीं हारी. आखिरकार दोनों ने ग्वालियर पहुंचकर ही दम लिया.

लेकिन अब इस खबर की चर्चा पूरे शहर में हो रही है. जैसे ही लोगों को इस दंपति के बारे में जानकारी मिली तो मदद करने के लिए भी कई लोग आने लगे. अब एक कॉर्पोरेट समूह द्वारा दंपति को रिटर्न एयर टिकट दिया गया है. एयर टिकट मिलने के बाद पति धनंजय ने कहा कि हमने अपने जीवन में कभी भी विमान में नहीं चढ़ा. ये मेरे लिए काफी खुशी की बात है. साथ ही धनंजय ने टिकट देने वाले कॉर्पोरेट समूह को धन्यवाद दिया.

मांझी की पत्नी 6 माह की गर्भवती भी है
जानकारी के मुताबिक, धनंजय मांझी की पत्नी सोनी हेम्बरम की ग्वालियर में परीक्षा देनी है. वहीं, मांझी की पत्नी 6 माह की गर्भवती भी है. ऐसे में कोरोना वायरस की वजह से स्कूटर से ग्वालियर जाना उन्होंने उचित समझा. इसके लिए दंपति परीक्षा से कई दिन पहले ही ग्वालियर के लिए रवाना हो गए थे. ग्वालियर पहुंचने के बाद धनंजय ने 10 दिनों के 1500 रुपए में एक कमरा लिया और रहने लगे. लेकिन जैसे ही इस दंपति के जज्बे की जानकारी जिला प्रशासन को लगी तो वे भी मदद के लिए आगे आए. वहीं, मीडिया से बात करते हुए धनंजय ने बताया कि अडानी ग्रुप ने उनकी मदद की है. अडानी ग्रुप ने अब घर वापस जाने के लिए उन्हें फ्लाइट टिकट दिया है.

परीक्षा केन्द्र के पास ही रहने की व्यवस्था कर दी
धनंजय ने प्रशासन का धन्यवाद देते हुए कहा कि जिलाधिकारी ने उनकी काफी मदद की है. साथ ही जिला शिक्षा अधिकारी ने परीक्षा केन्द्र के पास ही रहने की व्यवस्था कर दी. वही, 5000 रुपए भी आर्थिक मदद के तौर पर मुहैया कराए गए हैं. साथ ही ये आश्वासन भी दिया गया है कि परीक्षा खत्म होने के बाद उनके झारखंड तक वापस पहुंचने की व्यवस्था भी प्रशासन करेगा.





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