बड़वानी13 घंटे पहले
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पहाड़ी नाले में घुटनों तक पानी से होकर झोली में मरीज को अस्पताल ले जाते परिजन।
- वन बंधु योजना में शुमार पाटी ब्लॉक के घाेंघसा व पहाड़ी पर बसे गांवों के लोग बुनियादी सुविधाओं से वंचित
- जननी एक्सप्रेस बुलाना हो या ऑनलाइन पढ़ाई, पहाड़ी पर मिलता है नेटवर्क
वनबंधु योजना में शुमार आदिवासी बाहुल्य विकासखंड पाटी में स्वास्थ्य सेवा दम तोड़ रही है। घोंघसा व पहाड़ी पर बसे गांवों में लोग मुलभूत सुविधाओं से वंचित है। हाल ये है कि मरीज को अस्पताल ले जाना हो, तो परिजन को झोली में डालकर 10 किमी से ज्यादा मार्ग पहाड़ियों व पहाड़ी नाले से होकर जाना पड़ता है।
खास बात ये हैं कि हमारा जिला आकांक्षी जिले में भी शामिल है। बावजूद लोगों को स्वास्थ्य व शिक्षा के लिए मशक्कत करना पड़ रही है। जननी वाहन या एंबुलेंस बुलाना हो, तो गांव से 3 किमी दूर पहाड़ी पर आने के बाद ही नेटवर्क मिलता है। इसके चलते बच्चों की ऑनलाइन पढ़ाई भी प्रभावित हो रही है।
जान जोखिम में डाल करते हैं सफर

मरीज को झोली में डाल रोसर अस्पताल ले जाते।
ग्रामीण ठानसिंह ने बताया भाई बीमार हो गया है। लकड़ी पर कपड़े की झाेली बांध कर ग्राम रोसर अस्पताल ले जा रहे है, जो 10 से 15 किमी दूर है। पहाड़ी रास्ते व नाले में घुटनों तक जमा पानी से जान जोखिम में डालकर आवाजाही करना पड़ती है। इसके ढाई से तीन घंटे लगते हैं। गर्भवती महिला को भी इसी तरह झोली में डालकर ले जाते हैं। वाहन की कोई व्यवस्था नहीं है।
4 साल से कर रहे पुलिया बनाने की मांग
नाले पर पुलिया नहीं बनने से लोगों को आवाजाही में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। लोगों ने बताया आजादी के बाद से पुलिया नहीं बनी है। 2016 से पुलिया बनाने की मांग कर रहे हैं। इसको लेकर सीएम हेल्प लाइन, कलेक्टर, जिपं व जनपद पंचायत को आवेदन दिए। लेकिन अफसर आकर निरीक्षण कर चुके हैं। लेकिन पुल बनाने की कार्रवाई शुरू नहीं हुई है।