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- BSP Released Second List Of 10 Candidates; Vikrant Singh Gehlot Will Be In The Field Against Silvat And Guddu In The Evening
भोपाल25 मिनट पहले
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बसपा ने मध्य प्रदेश उपचुनाव की तैयारियों के तहत शुक्रवार को 10 प्रत्याशियों की दूसरी सूची जारी कर दी।
- बसपा के आने से ग्वालियर-चंबल में त्रिकोणीय लड़ाई की पूरी संभावना
- बसपा की भूमिका कांग्रेस के वोट बैंक को सेंध लगाने वाली हो सकती है
मध्यप्रदेश में विधानसभा की 28 सीटों पर होने वाले उपचुनाव के लिए बहुजन समाज पार्टी ने 10 प्रत्याशियों की दूसरी सूची आज यानी शुक्रवार को जारी कर दी। इसमें सांवेर से भाजपा के संभावित तुलसी सिलावट और कांग्रेस के प्रेमचंद गुड्डू के खिलाफ विक्रांत सिंह गेहलोत को मैदान में उतारा गया है। उपचुनाव में यह प्रत्याशी भाजपा और कांग्रेस दोनों का ही गणित बिगाड़ सकते हैं। इससे पहले बसपा ने 8 प्रत्याशियों की पहली सूची जारी की थी।
मध्यप्रदेश उपचुनाव की तैयारियां तेज हो गई है। कांग्रेसी 24 सीटों पर प्रत्याशियों के नामों का ऐलान कर चुकी है, वहीं भाजपा भी अपने प्रत्याशियों की सूची एक-दो दिन में फाइनल कर सकती है। भाजपा की 25 सीटों पर सीटों पर प्रत्याशियों के नाम लगभग फाइनल हैं। शुक्रवार को बसपा की राष्ट्रीय अध्यक्ष मायावती के आदेश पर मध्य प्रदेश के बसपा अध्यक्ष इंजीनियर रामाकांत पीप्पल की ओर से 10 प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी गई है।

बसपा की शुक्रवार को जारी हुई 10 प्रत्याशियों की दूसरी सूची।
कौन-कहां से होगा बसपा का उम्मीदवार
कुछ दिन पहले ही बसपा में शामिल हुए पूर्व मंत्री महेंद्र बौद्ध को बसपा ने भांडेर (दतिया) से, इंजीनियर पूरन सिंह अहिरवार को सांची (रायसेन), हरपाल माझी को ग्वालियर, महेश बघेल को ग्वालियर पूर्व, रमेश डाबर को बमोरी (गुना), विक्रांत सिंह गहलोत को सांवेर (इंदौर) से चुनाव लड़ाया जाएगा। वहीं शंकर सिंह चौहान को सुवासरा (मंदसौर), जितेंद्र वाशिंदे को मांधाता (खंडवा), गोपाल सिंह भिलाला को ब्यावरा (राजगढ़), गजेंद्र बंजारा को आगर से प्रत्याशी चुना गया है। इसके पहले बसपा 8 प्रत्याशियों की पहली सूची जारी की थी। इसमें मुरैना की जौरा, मुरैना, अंबाह, मेहगांव, गोहद, डबरा, पोहरी और करैरा सीटें शामिल थीं।
कांग्रेस को नुकसान पहुंचा सकती है बसपा
ग्वालियर-चंबल अंचल में बसपा के वोटों की अच्छी-खासी संख्या है। 2018 के चुनावों में यहां की ज्यादातर सीटों में बसपा के प्रत्याशी दूसरी पोजीशन पर रहे थे। ऐसे में लड़ाई त्रिकोणीय होने की पूरी संभावना है। बसपा की भूमिका कांग्रेस के वोट बैंक को सेंध लगाने वाली हो सकती है। जिन सीटों की घोषणा की गई है, इनमें ज्यादातर सीटों पर 2018 में बसपा के उम्मीदवार सेकेंड पोजीशन पर रहे थे। अब कांग्रेस के साथ जैसे ज्योतिरादित्य सिंधिया भी नहीं हैं। ऐसे में इन चुनावों में बसपा भारतीय जनता पार्टी को ही फायदा पहुंचाती दिख रही है।

बसपा की 8 प्रत्याशियों की पहली सूची।
ग्वालियर-चंबल संभाग में कितनी वजनदार है बसपा
बसपा का दावा है कि 2018 में हुए विधानसभा चुनाव में ग्वालियर-चंबल संभाग की 15 सीटों पर उसे निर्णायक वोट मिले थे। दो सीटों पर उसके प्रत्याशी दूसरे क्रम पर रहे, जबकि 13 सीटें ऐसी थीं, जहां बसपा प्रत्याशियों को 15 हजार से लेकर 40 हजार तक वोट मिले थे। ग्वालियर-चंबल की जिन सीटों पर उपचुनाव होने वाले हैं, उनमें से मेहगांव, जौरा, सुमावली, मुरैना, दिमनी, अंबाह, भांडेर, करैरा और अशोकनगर में पूर्व में बसपा जीत दर्ज करा चुकी है। पिछले चुनाव में गोहद, डबरा और पोहरी में बसपा दूसरा दल रहा, जबकि ग्वालियर, ग्वालियर पूर्व और मुंगावली में उसकी मौजूदगी नतीजों को प्रभावित करने वाली साबित हुई। डेढ़ साल पहले मुरैना में भाजपा की पराजय में बसपा की मौजूदगी प्रमुख कारण था। इसके अलावा पोहरी, जौरा, अंबाह में बसपा के चलते भाजपा तीसरे नंबर पर पहुंच गई थी।