इंदौरएक घंटा पहले
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एडवाइजरी कंपनी खोलकर फ्रॉड करने वाला आरोपी सौरभ।
- फर्जी एडवाइजरी कंपनी खोलकर 10 करोड़ से ज्यादा की धोखाधड़ी करने वाले आरोपी पुलिस गिरफ्त में
- पुलिस आरोपियों की संपत्तियों की जानकारी जुटाकर निवेशकों को उनका रुपया लौटाने की कोशिश में हैं
शेयर कारोबार में निवेश के नाम पर धोखाधड़ी करने वाले चार आरोपियों ने बाणगंगा के भागीरथपुरा इलाके के कई परिवारों को बर्बाद कर दिया है। एक सेना के रिटायर्ड अफसर का भी पूरा पैसा दोगुना करने का बोलकर उन्हें भी सड़क पर ला दिया। वहीं, एक गरीब परिवार के युवक को बर्बाद कर उसे गांव जाने पर मजबूर कर दिया और फिर उसी पर 45 लाख की चोरी के आरोप लगा दिए, लेकिन जब पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार किया तो सारी पोल खुल गई। अब गिरफ्त में आने के बाद आरोपी नौटंकी कर बीमार हो रहे हैं और ये कह रहे हैं कि हमारी जमीन बेचकर हम निवेशकों के रुपए चुका देंगे।

आरोपी विनायक।
बाणगंगा पुलिस ने आरोपी विनायक पिता अशोक नकसवाल, सौरभ पिता भोला नकसवाल, आराधना यादव और मयूर उर्फ जानू पिता अशोक नकसवाल निवासी रेडवाल कॉलोनी भागीरथपुरा को पकड़ा है। आरोपियों ने अपनी दो एडवाइजरी कंपनियां बनाकर भागीरथपुरा इलाके के 100 से ज्यादा परिवारों को निवेश करवाकर 20 प्रतिशत ब्याज का झांसा देकर और रुपए दोगुने करने का लालच देकर उनका रुपया लगा लिया, लेकिन किसी को उनकी मूल राशि तक नहीं लौटाई।
सिविल इंजीनियर सुरेश पिता रमेश चावला और उनकी पत्नी प्रमिला से 56 लाख 17 हजार 91 रुपए की धोखाधड़ी के मामले में पुलिस ने केस दर्ज किया तो 40 लोगों ने भी आरोपियों की शिकायत कर दी।

आरोपी मयूर उर्फ जानू।
ठगी का शिकार होने वालों में एक सैन्य अधिकारी श्याम सिंह भी शामिल हैं। वे कुछ समय पहले रिटायर्ड हुए थे। उन्होंने भी इसी कंपनी में रिटायरमेंट के दौरान मिला पीएफ का पैसा लगा दिया था। यह पैसा भी उन्हें नहीं लौटाया गया। उन्होंने भी बाणगंगा पुलिस को शिकायत की।
इधर, आरोपी विनायक और सौरभ ने अपने पड़ोस में ही रहने वाले राजेश उर्फ गुड्डू चौहान पर 45 लाख रुपए की चोरी का आरोप लगाया। जबकि राजेश पन्नी का काम करता था। उसे आरोपियों ने झांसे में लेकर 45 लाख का लोन दिलाया था, जिसकी राशि भी आरोपी ही हड़प गए थे। बैंक से आने वाले नोटिस और लोन न चुकाने से घबराकर वह अपने गांव जैद रहने चला गया तो उस पर चोरी के आरोप लगाकर निवेशकों को ये बरगलाने लगे थे।
200 एकड़ जमीन भोपाल में है, उसे बेचकर पैसा दे दूंगा
आरोपी विनायक ने कंपनी में निवेश करने वाले कई लोगों को ये भी कहा कि उसकी भोपाल-बैतूल मार्ग पर 200 एकड़ जमीन है, उसे बेचकर रुपए दे दूंगा। लेकिन उसकी बातों पर निवेशकों को विश्वास नहीं है। अभी गिरफ्त में आने के बाद वह बीमार होकर अस्पताल में भर्ती होने की नौटंकी कर रहा है। हालांकि पुलिस आरोपियों के खाते व संपत्तियों की जानकारी जुटाकर न्यायालय की मदद से निवेशकों को उनका रुपया लौटाने की कोशिश में जुटी है।