तोमर चौथी बार ग्वालियर से चुनाव लड़ने जा रहे हैं
प्रद्युम्न सिंह तोमर ने ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ बीजेपी (BJP) में शामिल होने के बाद इस्तीफा दिया और अब उपचुनाव में बीजेपी के संभावित उम्मीद्वार हैं. यहां उनका मुकाबला कांग्रेस (Congress) प्रत्याशी सुनील शर्मा से हो रहा है.
बच्चों के साथ फुटबॉल तो कभी क्रिकेट
मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ग्वालियर विधानसभा सीट से बीजेपी के संभावित उम्मीद्वार हैं. नाम की घोषणा होने से पहले ही वो ज़ोरशोर से प्रचार में लगे हुए हैं. रोजाना सुबह आठ बजे से दोपहर 2 बजे तक तोमर अपने इलाके में प्रचार के लिए निकलते हैं. पिछले तीन दिन के जनसंपर्क पर नजर डालें तो तोमर पहले दिन इंटक मैदान पहुंचे. वहां बच्चे फुटबॉल खेलते नजर आए. मंत्रीजी भी बच्चों के साथ फुटबॉल खेलने लगे. दूसरे दिन मलगढा इलाके में प्रद्युम्न सिंह तोमर ने मकान निर्माण में लगे मजदूर को देखा तो मजदूर का माला पहनाकर स्वागत किया और फिर उसके पैरों में अपना सिर रखकर आशीर्वाद लिया. सोमवार शाम को विजयनगर इलाके में जनसंपर्क के दौरान मंत्री जी पार्क में पहुंच गए और नन्हे बच्चों के साथ क्रिकेट खेलने लगे.
कांग्रेस का तंज, मंत्री बोले- मैं जमीनी आदमी हूंप्रद्युम्न सिंह तोमर पर कांग्रेस का कहना है कि मंत्री ने काम नहीं किया. उनके इलाके में गंदा पानी, खराब सड़कें, बिजली कटौती, जेसी मिल मजदूरों का विस्थापन जैसी समस्याएं बरकरार हैं. अब मंत्री को हार का डर है, इसलिए मतदाताओं को बरगलाने के लिए अब वो नौटंकी कर रहे हैं. इस पर तोमर का कहना है मैं जमीनी नेता हूं. अपनी जनता के दुख दर्द में हमेशा साथ खड़ा रहता हूं. चुनाव जीतने और मंत्री बनने के तुरंत बाद नालियों की सफाई की. सड़कें साफ कीं. आधी रात में लोगों के पास जाकर पानी की समस्या जानी. कांग्रेस खुद भी ऐसे काम करके दिखाए, जनता जानती है कौन उनका सच्चा जनप्रतिनिधि होगा.
चौथी बार मैदान में उतरे हैं प्रद्युम्न सिंह
प्रद्युम्न सिंह तोमर ने ग्वालियर विधानसभा सीट से पहला चुनाव 2008 में जनभान सिंह पवैया के खिलाफ लड़ा था, जिसमें उन्होंने कड़े मुकाबले में पवैया को ढाई हजार वोट से हराया था. 2013 के विधानसभा चुनाव में तोमर को जयभान सिंह पवैया ने 15 हजार वोट से हराया. 2018 में तीसरी बार पवैया और तोमर का मुकाबला हुआ, जिसमें प्रधुम्न सिंह तोमर ने जयभान सिंह पवैया को 21 हजार वोट से शिकस्त दी और कमलनाथ सरकार में मंत्री बने. ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ बीजेपी में शामिल होने के बाद इस्तीफा दिया और अब उपचुनाव में बीजेपी के संभावित उम्मीद्वार हैं. यहां उनका मुकाबला कांग्रेस प्रत्याशी सुनील शर्मा से हो रहा है. सुनील शर्मा भी सिंधिया के करीबी थे, सुनील ने 2018 विधानसभा चुनाव में तोमर के लिए प्रचार किया था.