Officers and employees are camping in the city itself, how will the investigation be completed on time | शहर में ही डेरा जमाए हुए हैं अधिकारी-कर्मचारी, कैसे होगी समय पर जाँच पूरी

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जबलपुर23 मिनट पहले

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फाइल फोटो

  • सौभाग्य योजना के तहत कराए गए कार्यों की जाँच कराने टीम गठित मगर जाँच शुरू नहीं हुई

पूर्व क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के अंतर्गत अनेक जिलों में सौभाग्य योजना के तहत कराए गए विद्युतीकरण कार्य में बरती गई लापरवाही की एक बार फिर जाँच कराए जाने टीम तो गठित कर दी गई, मगर इस टीम द्वारा जाँच प्रारंभ नहीं की गई है। जाँच टीम में शामिल कुछ अधिकारी-कर्मचारी तो एक बार भी फील्ड में नहीं गए हैं, जिसके चलते समय पर जाँच पूरी होने की संभावना नजर नहीं आ रही है। खासकर सीधी-सिंगरौली की जाँच में लापरवाही बरते जाने की बात कही जा रही है। यहाँ ठेकेदारों द्वारा गड़बड़ी किए जाने और क्षेत्रीय अधिकारी के साथ ही नोडल अधिकारी द्वारा बरती गई लापरवाही की शिकायतें ऊर्जा मंत्रालय तक पहुँची हैं।

विजिलेंस के अधिकारी लगातार नदारद- सूत्र बताते हैं कि सीधी क्षेत्र में कराए गए कार्यों की जाँच के लिए कॉरपोरेट कार्यालय से टीम गठित की गई है, जिसमें सीधी के अधिकारियों के साथ ही विजिलेंस विभाग के अधिकारियों को भी शामिल किया गया है मगर देखने में यह आ रहा है कि विजिलेंस विभाग के अधिकारियों ने अभी तक एक बार भी मौके पर जाकर जाँच शुरू नहीं की है।

डेढ़ सौ करोड़ रुपए के कराए कार्य – सूत्रों की मानें तो सीधी-सिंगरौली में करीब सौ से डेढ़ सौ करोड़ रुपए के कार्य कराए गए हैं। इतना ही नहीं यहाँ बरती गई लापरवाही की शिकायतें बिजली कंपनी के अधिकारियों को समय-समय पर दी गईं, मगर समय रहते किसी भी अधिकारी ने जाँच नहीं कराई जिससे कुछ अधिकारियों की भूमिका संदिग्ध मानी जा रही है।

केबलीकरण में ज्यादा अनियमितताएँ – पॉवर सेक्टर से जुड़े सूत्रों की मानें तो सीधी-सिंगरौली में केबलीकरण कार्य में ज्यादा अनियमितताएँ बरती गई हैं। इसके अलावा बिना विद्युत पोल लगाए और केबलीकरण किए बिना ही करोड़ों रुपए के फर्जी बिल प्रस्तुत किए जाने की भी शिकायतें की गई हैं।



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