कानड़12 घंटे पहले
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कानड़ अंचल के कई किसानोें पर जिले के जिम्मेदार अधिकारियों के साथ टिल्लर सिंचाई विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों की लापरवाही से 2500 हेक्टेयर से अधिक सिंचित भूमि पर रबी की फसल पर संकट के बादल छाते दिखाई दे रहे है। टिल्लर नदी पर नहर की पुलिया टूटे कई माह हो गए, लेकिन अधिकारियों ने इस ओर ध्यान नहीं दिया। ऐसे में किसान परेशान है। टिल्लर डेम से कानड़ व आसपास क्षेत्र में रबी की फसल की जाती है। घानीखेड़ी के पास टिल्लर नदी पर नहर की पुलिया बनाकर खेड़ा, कानड़, शिवगढ, बगावद आदि जगहों के किसानों को रबी के लिए दो तीन बार पानी दिया जाता है। 6 महीने पहले उक्त पुलिया टूट गई। किसानों ने रबी की फसल के लिए खेत तैयार कर लिए है, लेकिन टिल्लर सिंचाई विभाग द्वारा पुलिया व नहर पर ध्यान नहीं दिया जा रहा। नहर की सफाई भी विभाग द्वारा अभी तक नहीं कराई गई।
लंबाई-ऊंचाई से कैसे होगा अर्थवर्क– अंचल के किसान अर्जुनसिंह, सौदानसिंह, शिवलाल, अर्जुनसिंह, मेहरबानसिंह, भगवानसिंह, गणपतलाल, बालचंन्द्र, मुकेश आदि ने बताया कि घानीखेड़ी के पास टूटी पुलिया की उॅचाई, लम्बाई अधिक है। ऐसे में पुलिया पर अर्थवर्क कर विभाग के द्वारा किस तरह से किसानों को पानी दिया जाएगा। पानी नही होने से किसान रबी की फसल ही नही ले पाएंगे।
इस्टीमेट बनाकर भेजा है
टिल्लर सिंचाई विभाग के अनुविभागीय अधिकारी अनमोल टोपा ने बताया हमारे द्वारा नई पुलिया के लिए विभाग को इस्टीमेट बनाकर भेजा गया है। नहर की टूटी पुलिया पर वैकल्पिक व्यवस्था के लिए अर्थवर्क कराने का प्रयास किया जा रहा ताकि किसानों के खेतों तक एक दो पानी पहुंच सके।