कोरोना वैक्सीन के नाम पर ठगी: मोबाइल पर ओटीपी भेजकर ठग बोले, जल्दी से कोरोना वैक्सीन का रजिस्ट्रेशन करा लो नहीं तो खत्म हो जाएगी दवा

कोरोना वैक्सीन के नाम पर ठगी: मोबाइल पर ओटीपी भेजकर ठग बोले, जल्दी से कोरोना वैक्सीन का रजिस्ट्रेशन करा लो नहीं तो खत्म हो जाएगी दवा


  • Hindi News
  • Local
  • Mp
  • Bhopal Coronavirus; Madhya Pradesh Student Cheated In The Name Of Corona Vaccine Registration

Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप

भोपाल22 मिनट पहले

  • कॉपी लिंक

भोपाल में कोरोना वैक्सीन के लिए रजिस्ट्रेशन कराने के नाम पर धोखाधड़ी के कॉल आने केे मामले आए हैं। – प्रतीकात्मक फोटो

  • भोपाल ने फोन के झांसे में नहीं आने की सलाह जारी की
  • 500 रुपए देकर रजिस्ट्रेशन का देते हैं झांसा

सायबर फ्रॉड ने अब कोरोना वैक्सीन को ठगी का नया हथियार बना लिया है। भोपाल में एक छात्र को कोरोना वैक्सीन के लिए रजिस्ट्रेशन कराने के नाम पर ठगी का शिकार बनाने का प्रयास किया गया। आरोपी ने छात्र को जल्दी रजिस्ट्रेशन नहीं कराने पर वैक्सीन खत्म होने का झांसा देते हुए मोबाइल फोन का ओटीपी नंबर मांगा था। हालांकि छात्र ने समय रहते पुलिस को इसकी शिकायत कर दी। पुलिस ने लोगों से वैक्सीन के नाम पर आने वाले अनचाहे कॉल से बचने की सलाह दी है।

एएसपी रजत सकलेचा ने बताया कि भोपाल के एक छात्र को कॉल आया। आरोपी ने कहा कि वह केंद्र सरकार के स्वास्थ्य विभाग से बोल रहा हूं। भारत में कोरोना वैक्सीन लगवाने के लिए रजिस्ट्रेशन किया जाना शुरू हो गया है। इसके लिए आपको कॉल किया गया है। रजिस्ट्रेशन फीस के 500 रुपए भरे जाने है। बाकी के रुपए वैक्सीन लगाने के दौरान लिए जाएंगे।

इसके लिए मोबाइल फोन पर एक ओटीपी नंबर आएगा। बस उसे शेयर करना है। उसके बाद आपका रजिस्ट्रेशन हो जाएगा। छात्र ने ठग की शिकायत भोपाल सायबर पुलिस से की है। पुलिस ने मामले को गंभीरता से लेते हुए उसकी जांच शुरू कर दी। हालांकि अभी तक आरोपियों का पता नहीं चल पाया है।

एएसपी सकलेचा ने कहा कि कोरोना वैक्सीन के लिए आए हुए फोन कॉल को अटेंड न करें। रजिस्ट्रेशन के नाम पर आप का आधार कार्ड का नंबर मांगा जाएगा। फिर कहेंगे कि आप के मोबाइल पर OTP आएगा, वो हम को बताओ आप का रजिस्ट्रेशन हो जाएगा और वैक्सीन आप को जल्द मिल जाएगी। OTP बताते ही ठग एकाउंट को हैक कर लेगा।

ओटीपी सबसे महत्वपूर्ण होता है

मोबाइल फोन नंबर खाते समेत सभी तरह की ऑनलाइन सुविधाओं पर रजिस्ट्रर होता है। किसी भी तरह की सर्विस लेने या रुपयों के ऑन लाइन ट्रांजेक्शन के पहले मोबाइल फोन नंबर पर एक ओटीपी नंबर आता है। उसको शेयर करते ही मोबाइल फोन से ट्रांजेक्शन होता है। यह केवल संबंधित रजिस्ट्रर नंबर पर ही आता है। इसी कारण किसी से भी ओटीपी नंबर शेयर नहीं करना चाहिए।

इस तरह से फंसाते हैं जाल में

सायबर जालसाज किसी न किसी तरह से ओटीपी नंबर हासिल करना चाहते हैं। इसके लिए एटीएम कार्ड से लेकर क्रेडिट कार्ड एक्सपायर होने, खाता सीज होने, ऑनलाइन पेमेंट एप बंद होने और खाते में रुपए ट्रांसफर करने के नाम पर लिंक को क्लिक करने तक का झांसा देते हैं। इसलिए किसी को भी किसी भी हाल में एटीएम नंबर, खाता नंबर, पिन (पासवर्ड) और ओटीपी नंबर शेयर नहीं करना चाहिए।



Source link