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इंदौर2 घंटे पहले
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सर्वर व एप से जुड़ी शुरुआती परेशानियों के बाद एमवायएच में वैक्सीनेशन का ड्राय रन अच्छे से हुआ। फोटो-ओपी सोनी
- तकनीकी खामियाें और गाइड लाइन की कमी ने किया परेशान
काेराेना वैक्सीनेशन के लिए शुक्रवार को शहर के चार केंद्रों हुकमचंद पॉली क्लिनिक, एमवायएच, राजश्री अपोलो और हातोद प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र पर ड्राय रन हुआ। पूरी प्रक्रिया दोहराकर देखी गई, ताकि खामियों का पता चल सके और जब वास्तविक वैक्सीनेशन हो तो किसी तरह की परेशानी नहीं आए।
करीब 10 साल पहले तक चलने वाले पोलियो अभियान के बाद यह पहला मौका है, जब इस तरह वैक्सीनेशन की नौबत आई है। इस वजह से थोड़ी हड़बड़ाहट थीं और थोड़ी अव्यवस्था भी रही। हालांकि मोटे तौर पर ड्राय सफल रहा। मौके पर मौजूद भास्कर टीम ने भी पूरी प्रक्रिया पर नजर रखी, टीम के सदस्यों से बात की और प्रमुख खामियां जानने की कोशिश की ताकि अगले रन में उन्हें दूर किया जा सके।
1. 25 की ड्यूटी थी 19 कर्मचारी ही आए
राजश्री अपोलो में जिन कर्मचारियों के साथ टीके की रिहर्सल होना थी, वे अस्पताल में ड्यूटी करते रहे। ऐसे में 25 में से केवल 19 कर्मचारी ही ड्राय रन में शामिल हो पाए।
सीख; कर्मचारियों को वैक्सीनेशन में ड्यूटी की गंभीरता समझाना होगी।
2. सर्वर बंद होने से आधा घंटा लेट हुए
एमवायएच में ऐन मौके पर सर्वर ने काम करना बंद कर दिया। इसकी वजह से सारा काम ठप हो गया। इस वजह से ड्राय रन सुबह 9 की बजाय 9.30 पर शुरू हो सका।
सीख; तकनीकी रूप से अपडेट रहना होगा। मौके पर तकनीकी टीम भी लगेगी।
3. एसएमएस आया पर नाम सूची में नहीं
एमवायएच में ही किसी को एसएमएस मिला तो वैक्सीनेशन सूची में उसका नाम नहीं था। ऐसे भी कुछ लोग थे, जिनका सूची में नाम था, लेकिन एसएमएस नहीं मिला था।
सीख; विभागों के बीच आपसी समन्वय ठीक कर सूची क्रास चेक करना होगी।
4. 11 बजे पूरा होना था, देर तक चला
ड्राय रन के लिए 9 से 11 बजे तक समय निर्धारित किया गया था। विभिन्न कारणों से हुकमचंद पॉली क्लिनिक और एमवायएच में समय प्रबंधन गड़बड़ा गया।
सीख;समय प्रबंधन पर विशेष ध्यान देना होगा, वरना प्रक्रिया गड़बड़ा जाएगी।
5. गाइडलाइन न होने से आई परेशानी
वैक्सीनेशन की गाइडलाइन जारी नहीं किए जाने से कई तरह की परेशानी आई। बाएं हाथ की कोहनी के ऊपर टीका लगना था। कई लोग फुल आस्तीन की शर्ट या स्वेटर पहनकर पहुंच गए।
सीख; वैक्सीनेशन के लिए आने वाले लोगों को पूरी जानकारी पहले ही देना होगी।
लाभार्थी: अच्छा अनुभव रहा
हमें एक दिन पहले मोबाइल पर सूचना मिल गई थी। सुबह तय समय पर पहुंचे। अनुभव अच्छा रहा। प्रोटोकॉल का ध्यान रखा। स्टॉफ ने अच्छे से वैक्सीन के बारे में बताया। – अभिलाषा जायसवाल, फार्मासिस्ट
टीम: एप मामूली परेशानी आई
मेरी डयूटी कोविन-एप में हितग्राहियों की इंट्री की थी। सुबह कुछ देर तकनीकी परेशानी हुई, लेकिन फिर ठीक हो गया। बहुत अच्छा एप है। स्टॉफ मेंे कोआर्डिनेशन अच्छा था। – पवन बंसल, वैक्सीनेशन ऑफिसर
एप में दिक्कत आई
जिला टीकाकरण अधिकारी डॉ. तरुण गुप्ता ने बताया एप में स्टाफ को लाभार्थियों की सूची डिस्प्ले नहीं हुई। कुछ ऑफलाइन काम करना पड़ा।
ग्रामीण में 35 सेंटर
कलेक्टर मनीष सिंह ने बताया कि इंदौर में 46 कोविड अस्पतालों सहित वैक्सीनेशन के लिए 100 सेंटर बनाएंगे। 35 सेंटर ग्रामीण क्षेत्र में बनाएंगे।