मुरैना नगर निगम का कारनामा: भाई की मौत के बाद अनुकंपा नियुक्ति पाने, देवर ने भाभी की दूसरी शादी का फर्जी मेरिज सर्टिफिकेट जारी कराया

मुरैना नगर निगम का कारनामा: भाई की मौत के बाद अनुकंपा नियुक्ति पाने, देवर ने भाभी की दूसरी शादी का फर्जी मेरिज सर्टिफिकेट जारी कराया


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मुरैना11 घंटे पहलेलेखक: रजनीश दुबे

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2018 में हुई भाई की मौत, भाभी की दूसरी शादी 2014 में बता दी।

  • विधवा भाभी को पता चला तो एसपी से की शिकायत, जांच में पुष्टि कि नगर निगम से ही जारी हुआ है प्रमाण पत्र
  • एक साल में भी जांच पूरी नहीं… ठीक से जांच हो तो नगर निगम के कई अधिकारी-कर्मचारी फंसेंगे

रेलवे में सरकारी नौकरी कर रहे पति की साल 2018 में हादसे में मौत हुई तो पत्नी ने अनुकंपा नियुक्ति के लिए आवेदन किया। इस नौकरी को हथियाने के लिए देवर ने अपनी विधवा भाभी को दूसरे व्यक्ति से शादी का मुरैना नगर निगम से फर्जी विवाह प्रमाण पत्र बनवाया और रेलवे के समक्ष पेश कर आपत्ति लगा दी ताकि भाभी की जगह उसे नौकरी मिल जाए।

मुरैना नगर निगम का भी कारनामा देखिए कि यह फर्जी प्रमाण पत्र जारी भी कर दिया जिसमें महिला की शादी 2014 में होना बताया गया है। इसके अनुसार महिला ने अपने पति की मौत से पहले ही दूसरी शादी कर ली थी। देवर की आपत्ति के बाद रेलवे ने अनुकंपा नियुक्ति की प्रक्रिया रोक दी। इसके बाद विधवा महिला ने साल 2019 में ही मुरैना एसपी से शिकायत की लेकिन पुलिस अब तक मामले की जांच ही पूरी नहीं कर सकी।

नगर निगम मुरैना से 28 साल की प्रेमलता पुत्री राममनोहर लवानियां की साल 2014 में शादी का फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र जारी हुआ। इसमें उसका विवाह 50 साल के सुंदर पुत्र फूली लोधी निवासी ऐंतलपुर धौलपुर से होना दर्शाया गया जबकि प्रेमलता ने अपने पति अंकित शर्मा के 15 अगस्त 2018 में निधन के बाद से अब तक किसी दूसरे व्यक्ति से शादी नहीं की है। प्रेमलता के देवर राजा शर्मा निवासी लखनऊ ने यह फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र को रेलवे के समक्ष पेशकर अपनी भाभी (प्रेमलता) की अनुकंपा नियुक्ति रुकवा दी। इसके बाद आगरा निवासी प्रेमलता शर्मा ने साल 2019 में पुलिस अधीक्षक मुरैना से इस मामले की शिकायत की लेकिन इसकी जांच अब तक पूरी नहीं हो सकी है। वहीं नगर निगम आयुक्त अमरसत्य गुप्ता का कहना है कि उन्हें भी पुलिस ने बयान के लिए बुलाया है।

2018 में हुई भाई की मौत, भाभी की दूसरी शादी 2014 में बता दी
आगरा निवासी प्रेमलता शर्मा का विवाह 7 मई 2009 को लखनऊ निवासी अंकित शर्मा से हुआ था। 15 अगस्त 2018 को दुर्घटना में अंकित की मौत हो गई। अंकित रेलवे के एसएनटी सेक्शन में नौकरी करते थे। उनकी जगह पत्नी प्रेमलता ने अनुकंपा नियुक्ति के लिए रेलवे में आवेदन किया तो देवर ने रेलवे के समक्ष प्रेमलता के विवाह का फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र पेश कर आपत्ति लगा दी कि महिला ने जब दूसरी शादी कर ली है तो उसकी अनुकंपा नियुक्ति की पात्रता खत्म हो जाती है। ऐसे में मृतक के भाई राजा शर्मा को नौकरी दी जाए।

नगर निगम के विवाह पंजीयन बाबू की करतूत उजागर
फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र के मामले में नगर निगम के विवाह पंजीयन अधिकारी टिल्लू उर्फ सतेन्द्र शर्मा की करतूत सामने आई है। जांच में विवाह प्रमाण-पत्र बनाने में उपयोग किए गए कूटरचित सभी दस्तावेज पुलिस के हाथ लग गए जिनसे प्रथम दृष्टया यह साबित हो गया कि जाली विवाह प्रमाण-पत्र को नगर निगम के बाबू सतेंद्र शर्मा ने अन्य लोगों की मदद से पैसे लेकर जारी किया है। इस मामले में पुलिस सतेंद्र शर्मा को आरोपी बनाने की तैयारी कर चुकी है।

जिस सुंदर लोधी काे पति बताया, वह बोला- मैंने प्रेमलता से शादी नहीं की: पुलिस जांच में सु्ंदर लोधी ने कहा है कि उसकी शादी प्रेमलता शर्मा नामक किसी महिला से नहीं हुई है। सुंदर के परिवार के लोगों का भी ऐसा ही कहना है। इससे जाहिर है कि सुंदर के फोटो को प्रेमलता के फोटाे के साथ मिक्स कराकर देवर राजा शर्मा ने ही फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र बनवाया है।

फर्जी शपथ-पत्र बनाने व गवाही देने वाले भी फंसेंगे: प्रेमलता शर्मा का फर्जी विवाह प्रमाण-पत्र बनवाने के लिए झूठे शपथ-पत्र बनाने व इसमें गवाह के रूप में सामने आए लोगों को भी पुलिस आरोपी बनाएगी। इसके लिए पुलिस ने सभी को नोटिस देकर तलब किया है।

निगम कर्मचारियों को नोटिस जारी किए हैं
नगर निगम मुरैना से महिला की दूसरी शादी होने का जाली प्रमाण-पत्र बनवाया गया है। ननि के अधिकारी-कर्मचारियों को कथन के लिए नोटिस जारी किए हैं।
प्रियंका मिश्रा, सीएसपी मुरैना

यह मेरे कार्यकाल का मामला नहीं है
नगर पालिक निगम द्वारा 2014 में एक विवाह प्रमाण जारी किए जाने के संंबंध में पुलिस ने मुझसे जानकारी चाही है। मैंने इस संंबंध में अपने वरिष्ठ अधिकारियों को बता दिया है। लेकिन मैटर मेरे कार्यकाल का नहीं है।
सतेन्द्र शर्मा, प्रभारी विवाह पंजीयन शाखा



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