लापरवाही पड़ न जाए भारी: होशंगाबाद में शव जलाने के बाद नर्मदा घाट किनारे फेंक रहे PPE किट, संक्रमण फैलने का खतरा, प्रशासन बेखबर

लापरवाही पड़ न जाए भारी: होशंगाबाद में शव जलाने के बाद नर्मदा घाट किनारे फेंक रहे PPE किट, संक्रमण फैलने का खतरा, प्रशासन बेखबर


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होशंगाबाद3 मिनट पहले

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होशंगाबाद में शव जलाने के बाद �

तीर्थनगरी होशंगाबाद में बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के बीच खर्राघाट पर बड़ी लापरवाही सामने आ रही है। यहां अंतिम संस्कार के लिए कोरोना संक्रमण व संदिग्ध शवों को लाने के बाद PPE किट खुले में फेंकी जा रही। PPE किट को जलाने के बजाय इस तरह खुले में फेंकने से संक्रमण फैलने का खतरा मंडरा रहा है। शासन की गाइडलाइन है कि कोरोना से बचाव के लिए उपयोग आने वाली कोई सामग्री बायोमेडिकल बेस्ट किया जाए। यानि उस सामग्री को जलाया या नष्ट किया जाए। ताकि संक्रमण न फैले। लेकिन भोपाल रोड स्थित नर्मदा पुल के पास खर्राघाट पर PPE किट को खुले में फेंका का रहा। इस ओर प्रशासन की नजर नहीं जा पा रही। कहीं ये लापरवाही शहर के लिए भारी न पड़ जाएं।

खर्राघाट पर होता है अंतिम संस्कार
कोरोना संक्रमित या संदिग्ध व्यक्ति के शवों का अंतिम संस्कार शहर से पांच किमी दूर भोपाल रोड नर्मदा नदी के किनारे खर्राघाट पर किया जा रहा है। पिछले 5,6 दिनों से 10-12 शवों का अंतिम संस्कार रोज हो रहा है। इससे पहले रोजाना 4,5 शवों का अंतिम संस्कार हो रहा था। इन शवों को घाट पर लाने के बाद सफाईकर्मी और परिजन PPE किट को खुले में कहीं भी फेंक रहे हैं। PPE किट का उपयोग में लाने के बाद जब वह अनुपयोगी हो जाती है तो उसे नष्ट करना या जलाना जरूरी हो जाता है।

गुरुवार को 17 लोगों की हुई मौत
गुरुवार को होशंगाबाद में 17 लोगों की मौत हुई। जिनमें जिला अस्पताल में 11, नर्मदा अस्पताल में 3, मालवी अस्पताल में 2, पांडे अस्पताल में 1 मौत हुई। जिनका खर्राघाट पर अंतिम संस्कार हुआ। इसी तरह इटारसी के शांति शाम में 18 शवों का अंतिम संस्कार कराया हुआ। इनमें चार मृतक ऐसे थे, जिनमें कोविड के लक्षण थे।

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