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Sagar News: मध्य प्रदेश का बुंदेलखंड विदेशी पर्यटकों की पहली पसंद बनकर सामने आया है. यहां की वाइल्डलाइफ पर्यटकों को खूब भा रही है. रामराजा सरकार की नगरी ओरछा, चंदेलों की 1100 साल पुरानी मूर्ति कला और पन्ना के टाइगर रिजर्व में बड़ी संख्या में विदेशी सैलानी एक्सप्लोर करने के लिए पहुंचे हैं. मध्य प्रदेश टूरिज्म विभाग की ओर से जारी आंकड़ों में भी यही बात निकलकर सामने आई है.
मध्य प्रदेश पर्यटन विभाग की ओर से साल 2024 के आंकड़े जारी किए गए. इसमें बताया गया है कि कुल 13.41 करोड़ पर्यटकों ने भ्रमण किया.

1 लाख 67 हजार विदेशी सैलानी पहुंचे. जिनमें से सबसे ज्यादा 33 हजार 131 से ज्यादा खजुराहो पहुंचे, इसके अलावा विदेशी सैलानियों ने ओरछा के हेरिटेज और पन्ना की वाइल्ड लाइफ का भी आनंद लिया.

एमपी टूरिज्म बोर्ड की ओर से जारी आंकड़ों के अनुसार, विदेशी पर्यटक सबसे ज्यादा खजुराहो घूमने के लिए आए हैं. खजुराहो की मूर्ति कला लोगों को काफी आकर्षित कर रही है. बता दें कि कोरोना महामारी के बाद विदेशी पर्यटकों की संख्या एकदम से घट गई थी, लेकिन 2024 में अच्छी रणनीति के चलते फिर उछाल देखने को मिला.

खजुराहो के बाद 13 हजार 960 विदेशी सैलानी ओरछा पहुंचे, ओरछा को बुंदेलखंड की अयोध्या भी कहा जाता है, यहां 16वीं और 17वीं शताब्दी के किले और महल बनवाए थे, जो अपनी आंतरिक भित्ति और चित्रकला के लिए जाने जाते हैं. यहां बड़ी संख्या में विदेशी सैलानी पहुंच रहे हैं.

यहां की वाइल्डलाइफ भी खूब पसंद आ रहा है. मध्य प्रदेश आने वाले विदेशी सैलानी 29 हजार 192 बांधवगढ, 19 हजार 148 कान्हा, 12 हजार 762 पन्ना और पेंच 11 हजार 272 पर्यटक पहुंचे.

बुंदेलखंड के पन्ना में भी लोग खूब एक्सप्लोर करने के लिए पहुंच रहे हैं, यहां पन्ना टाइगर रिजर्व है. इसमें करीब 100 बाघ है और इनकी साइटिंग भी खूब होती है, जिसकी वजह से पर्यटक इन्हें देखने के लिए पहुंचते हैं और सफारी का आनंद लेते हैं,

खजुराहो में मूर्ति कला सबसे ज्यादा आकर्षित करती है यहां पर पहुंचने के लिए एयरपोर्ट कनेक्टिविटी भी है जिसके चलते विदेशियों की संख्या बढ़ा रही है हालांकि कोरोना से पहले औसत यहां पर एक लाख विदेशी पर्यटक पहुंचते थे.