जगनाथर गांव में बाढ़ में फंसे 20 लोगों को रेस्क्यू: मंडला में कई इलाकों में घरों-दुकानों में घुसा पानी, खतरे के निशान के ऊपर नर्मदा का जलस्तर – Mandla News

जगनाथर गांव में बाढ़ में फंसे 20 लोगों को रेस्क्यू:  मंडला में कई इलाकों में घरों-दुकानों में घुसा पानी, खतरे के निशान के ऊपर नर्मदा का जलस्तर – Mandla News


मंडला और नैनपुर में सबसे ज्यादा बारिश दर्ज की गई

मंडला जिले में सोमवार शाम से शुरू हुई तेज बारिश ने शहर और ग्रामीण इलाकों में तबाही मचा दी। मूसलाधार बारिश रातभर चलती रही, जिससे कई हिस्सों में बाढ़ जैसी स्थिति बन गई। शहर के कई घरों और दुकानों में पानी भर गया, जिससे लोगों को देर रात तक पानी निकालने म

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नर्मदा का जलस्तर खतरे से ऊपर, चलाया गया रेस्क्यू

बारिश इतनी तेज रही कि नर्मदा नदी का जलस्तर खतरे के निशान को पार कर गया। मंगलवार सुबह 8 बजे जलस्तर 438.10 मीटर दर्ज किया गया, जो सामान्य सीमा से ऊपर है। ग्राम जगनाथर में 20 लोग बाढ़ के पानी में फंस गए थे, जिन्हें एसडीईआरएफ की टीम ने देर रात रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया।

शहर में पानी-पानी, लोग बेहाल

शहर के प्रमुख इलाकों जैसे कलेक्टोरेट कॉलोनी, सुभाष वार्ड और भगतसिंह वार्ड में घरों के अंदर तक पानी घुस गया। कलेक्टोरेट कॉलोनी में नाले पर बनी दीवार ने पानी की निकासी को रोक दिया था, जिसे नगर पालिका ने जेसीबी मशीन की मदद से तोड़ा और पानी बाहर निकालने का रास्ता बनाया। चिलमन चौक स्थित पैराडाइज होटल के नीचे की दुकानें जलमग्न हो गईं। रेडक्रॉस भवन के आसपास के क्षेत्र भी जलभराव से प्रभावित रहे।

सोशल मीडिया पर भड़का गुस्सा

लोगों ने सोशल मीडिया के जरिए नगर पालिका की तैयारियों पर सवाल उठाए। कई नागरिकों ने कहा कि हर साल यही स्थिति बनती है लेकिन स्थायी समाधान नहीं निकलता। इस बार भी समय पर नालों की सफाई और जल निकासी की व्यवस्था नहीं की गई, जिससे मुसीबत और बढ़ गई। मंडला जिले में बीते 24 घंटे में औसतन 91.8 मिमी बारिश दर्ज की गई।

तहसीलवार बारिश के आंकड़े

  • मंडला: 124.4 मिमी
  • नैनपुर: 126.4 मिमी
  • बिछिया: 103.5 मिमी
  • निवास: 64.6 मिमी
  • घुघरी: 64.6 मिमी
  • नारायणगंज: 67.7 मिमी

1 जून से 8 जुलाई तक जिले में कुल 792.6 मिमी बारिश दर्ज की गई है, जो पिछले साल की इसी अवधि में हुई 340.4 मिमी बारिश से कहीं ज्यादा है।

प्रशासन की अपील

प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे सतर्क रहें, नदी-नालों से दूरी बनाकर रखें और किसी भी आपात स्थिति में प्रशासन से संपर्क करें। राहत और बचाव कार्य लगातार जारी हैं और हालात पर नजर रखी जा रही है।



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