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चेतन शर्मा मे न्यूज 18 हिंदी से एक्सक्लूसिव बातचीत में बताया कि वो पहली बार लार्ड्स में खेलने में पवेलिएन एंड से गेंदबाजी करने में स्लोप की वजह खासी दिक्कत हुई. लंच ब्रेक में चेतन ने अपने कोच देशप्रेम आजाद को ल…और पढ़ें
1986 में लॉर्ड्स के मैदान पर 5 विकेट लेने वाले चेतन शर्मा ने दी आकाशदीप को नसीहत
लॉर्ड्स का मैदान 1814 में बना था और तब की निर्माण तकनीक बहुत सीमित थी. मैदान को पूरी तरह समतल नहीं किया गया, जिससे यह प्राकृतिक स्लोप बना रहा.अब यह स्लोप लॉर्ड्स की पहचान बन चुका है, और इसे संरक्षित रखा गया है. कुछ गेंदबाज़ जैसे जेम्स एंडरसन और ग्लेन मैक्ग्राथ इस स्लोप का बहुत अच्छा इस्तेमाल करते थे।कई खिलाड़ी पहली बार लॉर्ड्स में खेलने पर इस स्लोप से चकित हो जाते हैं. इसीलिए लॉर्ड्स पर अपना पहला मैच खेलने वाले आकाशदीप और नितिश रेड्डी जैसे गेंदबाजों के लिए पवेलियन एंड से गेंदबाजी करना थोड़ा परेशानी वाला हो सकता है,
लॉर्ड्स के मैदान पर भारतीय टीम को पहली जीत 1986 में कपिल देव की कप्तानी में मिली और इस जीत में तेज गेंदबाज चेतन शर्मा ने अहम भूमिका निभाई थी. चेतन ने इस मैच में 5 विकेट लिए थे. चेतन शर्मा मे न्यूज 18 हिंदी से एक्सक्लूसिव बातचीत में बताया कि वो पहली बार लार्ड्स में खेलने में पवेलिएन एंड से गेंदबाजी करने में स्लोप की वजह खासी दिक्कत हुई. लंच ब्रेक में चेतन ने अपने कोच देशप्रेम आजाद को लैंडलाइन पर कॉल करके बात की और उन्होंने चेतन को नर्सरी एंड के गेंदबाजी को कहा यानि स्लोप के विपरीत. इसके बाद चेतन ने इस एंड से 3 विकेट निकाले, चेतन ने कहा कि आकाश को थोड़ी दिक्कत आ सकती है इसलिए बुमराह को पवेलिएन एंड और आकाश को नर्सरी एंड से गेंदबाजी करनी चाहिए ताकि थोड़ा वो अभयस्त हो सके. आकाश का बी बॉलिंग एक्शन चेतन की तरह है और वो स्लोप से विपरीत एंड से गेंदबाजी करते है तो वो फिर धमाल कर सकते है.
पूर्व चीफ सेलेक्टर चेतन शर्मा की बातों को समझने के लिए हमने ग्राउंड मैन से स्लोप को समझने की कोशिश की. पवेलियन के एक कार्नर से जब नर्सरी छोर की तरफ आते हैं तो आपको नीचे की तरफ आती करीब आठ फिट की ये ढलान साफ दिखाई देती है। जब आप पवेलियन एंड से गेंदबाजी करते हैं तो तेज गेंदबाज को मूमेंट असानी से मिलता है. ऐसे में जसप्रीत बुमराह उधर से गेंदबाजी करते हुए दिख सकते हैं. ये ढलान दोधारी तलवार भी है क्योंकि अगर गेंदबाज ने पहले यहां पर गेंदबाजी नहीं की है तो उसे टप्पा ढूंढ़ना मुश्किल हो सकती है. अगर आपने यहां पर ज्यादा गेंदबाजी नहीं की है तो पवेलियन छोर से मुश्किल हो सकती है क्योंकि आप अपनी स्विंग के हिसाब से गेंद फेंकोगे लेकिन उधर से अतिरिक्त मदद मिलने के कारण गेंद पर कंट्रोल करना मुश्किल हो जाएगा. ऐसे में आकाशदीप को पहले नर्सरी छोर से गेंदबाजी करके खुद को सेट करना चाहिए और बाद में पवेलियन छोर से गेंदबाजी करनी चाहिए. लॉर्ड्स में रणनीति बनाते समय कप्तान को स्लोप को समझने की भी बहुत जरूरत होती है .