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CBSE new Rules, CBSE Guidelines: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) ने क्लासरूम में स्टूडेंट्स की संख्या को लेकर एक नई गाइडलाइन जारी की है. इस नए नियम के तहत किसी भी सेक्शन में 40 से अधिक बच्चे नहीं होने…और पढ़ें
हाइलाइट्स
- CBSE ने जारी किए नए नियम.
- एक सेक्शन में नहीं होंगे 40 से अधिक बच्चे.
- कुछ बच्चों को मिल सकती है छूट.
CBSE Guidelines: हर सेक्शन में होंगे 40 बच्चे
सीबीएसई का कहना है कि सामान्य हालात में कक्षा 1 से 12 तक के हर सेक्शन में ज्यादा से ज्यादा 40 बच्चे ही होने चाहिए.इससे क्लासरूम में पढ़ाई का माहौल अच्छा रहता है और हर बच्चे पर टीचर का ध्यान जा पाता है, लेकिन कई स्कूलों की मांग थी कि कुछ खास मामलों में उन्हें ज्यादा बच्चों को दाखिला देने की इजाजत दी जाए.सीबीएसई ने उनकी बात सुनी और कुछ शर्तों के साथ छूट दे दी.
Student in CBSE Class: कब मिलेगी 45 बच्चों की छूट?
माता-पिता का ट्रांसफर: अगर किसी बच्चे के माता-पिता का ट्रांसफर हो गया है. खासतौर पर आर्मी, केंद्रीय कर्मचारी, PSU या प्राइवेट सेक्टर आदि में काम करने वाले लोगों के बच्चों को दाखिला देने के लिए छूट मिल सकती है.
रिपीट करने वाले बच्चे: जो बच्चे essential repeat कैटेगरी में हैं यानी किसी कारण से उसी कक्षा में दोबारा पढ़ रहे हैं.
गंभीर बीमारी वाले बच्चे: अगर कोई बच्चा गंभीर बीमारी की वजह से पढ़ाई में पीछे रह गया और उसे दाखिला चाहिए.
हॉस्टल से डे-स्कॉलर: जो बच्चे हॉस्टल छोड़कर डे-स्कॉलर बन रहे हैं उन्हें दाखिला देने के लिए छूट मिलेगी.
पढ़ाई में सुधार: कुछ बच्चे अपनी पढ़ाई बेहतर करने के लिए फिर से दाखिला लेना चाहते हैं. लेकिन ध्यान रहे यह छूट सिर्फ तभी मिलेगी जब स्कूल को वाकई कोई दूसरा रास्ता न दिखे.
CBSE Rules for Schools: स्कूलों को क्या करना होगा?
कक्षा 9 से 12: दाखिले का कारण CBSE पोर्टल पर अपलोड करना होगा.साथ ही स्कूल के एडमिशन और विदड्रॉल रजिस्टर में भी इसे लिखना होगा.
कक्षा 1 से 8: कारण सिर्फ एडमिशन और विदड्रॉल रजिस्टर में दर्ज करना होगा लेकिन सभी मामलों में जानकारी CBSE के OASIS पोर्टल पर अपलोड करनी होगी.
क्षेत्रीय कार्यालय की मंजूरी: सत्र के बीच में ट्रांसफर या रिपीट कैटेगरी के बच्चों को दाखिला देने के लिए CBSE के क्षेत्रीय कार्यालय से इजाजत लेनी होगी.
45 से ज्यादा बच्चे बिल्कुल नहीं
Classroom Rules: क्लासरूम की क्या शर्तें हैं?
अगर स्कूल 45 बच्चों को दाखिला देता है तो उसे कुछ बुनियादी सुविधाएं सुनिश्चित करनी होंगी.ये नियम CBSE के एफिलिएशन उपनियम 2018 के क्लॉज 4.8 के तहत हैं.इससे बच्चों को पढ़ाई के लिए आरामदायक और सुरक्षित माहौल मिलता है.इसके नियम के अनुसार क्लासरूम का साइज कम से कम 500 वर्ग फुट होना चाहिए.हर बच्चे के लिए कम से कम 1 वर्ग मीटर का स्पेस होना जरूरी है.CBSE ने स्कूलों को सुझाव दिया है कि वे भविष्य में प्रति सेक्शन 40 बच्चों की सीमा को फिर से लागू करने की तैयारी करें. इसके लिए स्कूलों को अपनी बुनियादी सुविधाएं जैसे नए क्लासरूम बनाना या मौजूदा ढांचे को बेहतर करना होगा.
न्यूज़18 हिंदी (Network 18) डिजिटल में असिस्टेंट एडिटर के तौर पर कार्यरत. करीब 13 वर्ष से अधिक समय से मीडिया में सक्रिय. हिन्दुस्तान, दैनिक भास्कर के प्रिंट व डिजिटल संस्करण के अलावा कई अन्य संस्थानों में कार्य…और पढ़ें
न्यूज़18 हिंदी (Network 18) डिजिटल में असिस्टेंट एडिटर के तौर पर कार्यरत. करीब 13 वर्ष से अधिक समय से मीडिया में सक्रिय. हिन्दुस्तान, दैनिक भास्कर के प्रिंट व डिजिटल संस्करण के अलावा कई अन्य संस्थानों में कार्य… और पढ़ें