ग्वालियर में 12 लाख रुपए की लूट फर्जी निकली: कर्जदार परेशान न करें, इसलिए रची थी झूठी लूट की कहानी – Gwalior News

ग्वालियर में 12 लाख रुपए की लूट फर्जी निकली:  कर्जदार परेशान न करें, इसलिए रची थी झूठी लूट की कहानी – Gwalior News


पुलिस को 12 लाख रुपए की लूट की फेक कहानी सुनाने वाला।

ग्वालियर में देर रात हाईवे किनारे 12 लाख रुपए की लूट की घटना सामने आई। कार सवार एक युवक ने कहानी सुनाई कि वह बिलौआ में एक क्रेशर से 9 लाख और मुरार में एक दोस्त से तीन लाख रुपए लेकर घर लौट रहा था। रास्ते में बाइक सवार बदमाशों ने हमला किया और कैश लूट ल

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पहली नजर में घटना गंभीर लगी तो पुलिस तत्काल एक्शन मोड़ में आ गई। बेहटा चौकी प्रभारी सब इंस्पेक्टर क्षमा राजौरिया ने छानबीन शुरू की। जब क्रेशर तक पुलिस पहुंची तो पता लगा कि कथित फरियादी वहां से कोई 9 लाख रुपए उठाकर नहीं लाया है। इसके बाद पुलिस अपने अंदाज में आई तो कार सवार ने कान पकड़कर माफी मांगी और बताया कर्जदार परेशान न करें इसलिए वह फर्जी लूट की कहानी बुन रहा था।

इस तरह पत्थर सड़क पर लगाकर पुलिस को गुमराह किया था।

शहर के महाराजपुरा शेखपुरा निवासी 22 वर्षीय अखिलेश पाल पुत्र मुकेश पाल ने गुरुवार देर रात पुलिस को सूचना दी कि उसके साथ लूट हुई है। जब महाराज पुरा थाना की बेहटा चौकी प्रभारी क्षमा राजौरिया पहुंची तो बदमाश ने कहा कि उसके साथ लूट हुई है। वह अपनी कार में बारह लाख रुपए लेकर जा रहा था। रास्ते में बदमाशों ने पत्थर रखकर रास्ता रोक रखा था। उसने जैसे ही कार रोकी, दो बाइक पर आए छह बदमाशों ने मारपीट की। कपड़े फाड़े और पूरी रकम लूट ली। जब बेहटा चौकी प्रभारी स्पॉट पर पहुंची तो स्पॉट देखकर उनको लूट की कहानी पर संदेह हुआ। कथित फरियादी ने पत्थर रखकर रास्ता रोकने की बात कही थी, लेकिन रास्ते पर दो छोटे पत्थर रखे थे जिनके आसपास से आसानी से निकला जा सकता था।

यहां शक यकीन में बदला लूट फर्जी है कथित फरियादी ने पुलिस को बताया था कि 12 लाख रुपए में से 9 लाख रुपए वह बिलौटा खदान से मनीष से लेकर आया था, जबकि तीन लाख रुपए मुरार में सीपी कॉलोनी में दोस्त के घर से उठाए थे। उसे किसी को अर्जेंट पेमेंट करना था। जब पुलिस ने बिलौआ में मनीष से बातचीत की तो उसने रुपए देने की बात से इनकार किया। जिस पर पुलिस का शक अब यकीन में बदल गया।

पूछताछ में टूट गया, बोला-कर्जदार से परेशान पुलिस अखिलेश पाल को जब थाने लाई और पूछताछ शुरू की तो सच सामने आने में ज्यादा समय नहीं लगा। इसके बाद कथित फरियादी ने बताया कि उस पर 35 लाख रुपए का कर्ज है। कर्जदार घर आकर परेशान कर रहे हैं। उसने सोचा था कि लूट की बात साबित हो जाएगी तो कर्जदार से आठ से दस महीने फुर्सत मिल जाएगी। जब वह पकड़ा गया तो माफी मांगने लगा। इसके बाद पुलिस ने उससे माफी नामा लिखवाया है।

पुलिस का कहना इस मामले में बेहटा चौकी प्रभारी क्षमा राजौरिया ने बताया कि एक युवक ने अपने साथ 12 लाख रुपए की लूट की सूचना दी थी, जब जांच पड़ताल की तो खबर फर्जी निकली है। युवक ने अपने ऊपर चढ़े कर्ज से राहत पाने के लिए यह षड़यंत्र रचा है।



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