भोपाल एमडी ड्रग्स: हथियारों से लेकर ब्लैकमेलिंग तक, ‘जग्गा’ गिरफ्तार, शारिक गैंग बेनकाब

भोपाल एमडी ड्रग्स: हथियारों से लेकर ब्लैकमेलिंग तक, ‘जग्गा’ गिरफ्तार, शारिक गैंग बेनकाब


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Bhopal MD Drug Racket : भोपाल में एमडी ड्रग्स रैकेट की जांच में बड़ा खुलासा हुआ है. मुख्य आरोपी यासीन मछली ने पुलिस पूछताछ में कबूल किया है कि उसने ड्रग्स के साथ-साथ हथियारों की तस्करी भी की. उसके लैपटॉप और मोब…और पढ़ें

भोपाल में ड्रग्‍स कांड में नया खुलासा हुआ है.

हाइलाइट्स

  • भोपाल एमडी ड्रग्स केस: ‘जग्गा’ गिरफ्तार, शारिक गैंग का काला सच बेनकाब!
  • ड्रग्स, हथियार और ब्लैकमेलिंग! भोपाल में ‘जग्गा-शारिक’ गैंग का खुलासा.
  • ‘जग्गा’ दबोचा, ‘शारिक गैंग’ बेनकाब: भोपाल में ड्रग्स रैकेट की खतरनाक परतें.
रमाकांत दुबे
भोपाल.
एमडी ड्रग्स तस्करी के सनसनीखेज मामले में भोपाल पुलिस की जांच लगातार नए-नए खुलासे कर रही है, जिससे यह सिर्फ एक ड्रग्स रैकेट न होकर एक संगठित आपराधिक सिंडिकेट के रूप में सामने आ रहा है. मुख्य आरोपी यासीन मछली ने पुलिस पूछताछ में जो कबूलनामे किए हैं, वे चौंकाने वाले हैं. उसने बताया है कि वह सिर्फ ड्रग्स तस्करी में ही नहीं, बल्कि हथियारों की खरीद-फरोख्त और युवतियों को अश्लील वीडियो के जरिए ब्लैकमेल करने में भी सक्रिय था. उसके लैपटॉप और मोबाइल से बरामद डेटा सामग्री-जिसमें अश्लील वीडियो, हथियारों से संबंधित क्लिप और संदिग्ध चैट्स शामिल हैं- ने इस नेटवर्क की भयावह तस्वीर दिखाई है. पुलिस को इस हाई प्रोफाइल मामले में अन्‍य के शामिल होने की आशंंका है.

पुलिस के अनुसार, यासीन का यह नेटवर्क सिर्फ भोपाल तक सीमित नहीं है, बल्कि इसके तार राजस्थान समेत कई राज्यों से जुड़े हुए हैं. यासीन के मोबाइल चैट रिकॉर्ड्स के गहन विश्लेषण के बाद, क्राइम ब्रांच ने तीन और पेडलर को दबोचा है. इन्हीं में से एक, जगजीत सिंह बैस उर्फ ‘जग्गा’ की गिरफ्तारी भोपाल एयरपोर्ट से हुई. उसकी गिरफ्तारी के समय उसके पास से एक देशी कट्टा और गांजा भी जब्त किया गया, जिससे पुलिस का यह संदेह और गहरा हो गया कि जग्गा न केवल ड्रग्स की सप्लाई करता था, बल्कि अवैध हथियारों के परिवहन में भी उसकी महत्वपूर्ण भूमिका थी.

नेटवर्क की फाइनेंसिंग और चैनल की जिम्‍मेदारी थी शारिक पर
इस आपराधिक नेटवर्क का एक और अहम किरदार शारिक मछली है, जिसे इस गिरोह का कथित मास्टरमाइंड माना जा रहा है. शारिक, जो यासीन का करीबी रिश्तेदार भी है, को देर रात क्राइम ब्रांच ने हिरासत में लिया है. सूत्रों के मुताबिक, शारिक इस पूरे नेटवर्क की फाइनेंसिंग और डिलीवरी चैनल को संभालता था. उसकी गिरफ्तारी से पूरे रैकेट की कमर टूटने की उम्मीद है, क्योंकि वह सिंडिकेट के संचालन और वित्तपोषण की महत्वपूर्ण कड़ियों में से एक था.

लड़कियों को अपने जाल में फंसाया, उनसे फाइनेंस जुटाने का था जुगाड़ 
यह गिरोह केवल ड्रग्स बेचने तक ही सीमित नहीं था, बल्कि यह लड़कियों को अपने जाल में फंसाकर उनकी आपत्तिजनक और अश्लील वीडियो भी तैयार करता था. बाद में इन्हीं वीडियो का इस्तेमाल उन्हें ब्लैकमेल करने और गिरोह के लिए फाइनेंसिंग जुटाने में किया जाता था. यासीन से हुई पूछताछ से यह भी पता चला है कि ड्रग्स तस्करी के लिए फंड जुटाने और अवैध हथियार खरीदने के लिए इन्हीं अश्लील कंटेंट को बेचा जाता था या इसका इस्तेमाल बार्टर के रूप में किया जाता था.

26 जुलाई तक पुलिस रिमांड पर
भोपाल पुलिस अब इस पूरे नेटवर्क के अन्य सदस्यों की तलाश में मध्य प्रदेश के विभिन्न जिलों और पड़ोसी राज्यों में लगातार दबिश दे रही है. यासीन सहित सभी मुख्य आरोपी वर्तमान में 26 जुलाई तक पुलिस रिमांड पर हैं, जिससे पुलिस को उनसे और अधिक जानकारी निकालने का समय मिल गया है. पुलिस अब इस पूरे मामले को एक बहु-राज्यीय संगठित अपराध के तौर पर देख रही है और अपनी जांच का दायरा राज्य की सीमाओं से बाहर तक बढ़ा चुकी है ताकि इस पूरे सिंडिकेट को जड़ से खत्म किया जा सके.

Sumit verma

सुमित वर्मा, News18 में 4 सालों से एसोसिएट एडीटर पद पर कार्यरत हैं. बीते 3 दशकों से सक्रिय पत्रकारिता में अपनी अलग पहचान रखते हैं. देश के नामचीन मीडिया संस्‍थानों में सजग जिम्‍मेदार पदों पर काम करने का अनुभव. प…और पढ़ें

सुमित वर्मा, News18 में 4 सालों से एसोसिएट एडीटर पद पर कार्यरत हैं. बीते 3 दशकों से सक्रिय पत्रकारिता में अपनी अलग पहचान रखते हैं. देश के नामचीन मीडिया संस्‍थानों में सजग जिम्‍मेदार पदों पर काम करने का अनुभव. प… और पढ़ें

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