भारी वाहनों की रोक के बाद लगी कतारें।
श्योपुर से 28 किलोमीटर दूर स्थित चंबल पाली पुल पर जिला प्रशासन ने सुरक्षा कारणों से प्रतिबंध लगा दिया है। कलेक्टर अर्पित वर्मा ने 10 अगस्त तक पुल पर भारी वाहनों की आवाजाही पर पूर्ण प्रतिबंध का आदेश जारी किया है। यह प्रतिबंध यात्री बसों और लोडिंग वाहन
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1956 में बना था पुल
यह निर्णय लोक निर्माण विभाग, सेतु निर्माण उपसंभाग ग्वालियर की तकनीकी रिपोर्ट के आधार पर लिया गया है। रिपोर्ट के अनुसार 1995 में राजस्थान सरकार की ओर से निर्मित यह पुल वर्तमान में असुरक्षित स्थिति में है। पुल की दोनों ओर की एप्रोच स्लैब धंस चुकी हैं। नीचे की भराव मिट्टी में कटाव हो रहा है। इसका मुख्य कारण रिटेनिंग वॉल का अभाव है।
पुल के नीचे से हट रहा स्लैब।
यातायात के लिए सुरक्षित नहीं
लोक निर्माण विभाग ने स्पष्ट किया है कि सेटल स्लैब हटाकर रिटेनिंग वॉल और बैकफिलिंग का कार्य पूरा होने तक पुल पर यातायात सुरक्षित नहीं है। पुलिस अधीक्षक श्योपुर ने भी भारी वाहनों पर प्रतिबंध की अनुशंसा की थी। इसके आधार पर मोटर यान अधिनियम 1994 की धारा 215 के अंतर्गत यह आदेश जारी किया गया है।
पुल पर आवागमन बंद होने से आमजन को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। श्योपुर से सवाई माधोपुर जाने वाले लोगों को अब इटावा होकर लंबा चक्कर लगाना पड़ रहा है। इससे वाहन चालकों को 35 से 40 किलोमीटर का अतिरिक्त फेरा लगाना पड़ रहा है। इससे समय, ईंधन और खर्च तीनों में बढ़ोतरी हो रही है।