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Chhatarpur News: वैसे तो पूरे छतरपुर में खजूरी (खजरी) के पेड़ 12 महीने पाए जाते हैं लेकिन बरसात में इस पेड़ की मांग ज्यादा बढ़ जाती है क्योंकि बरसात के मौसम में छोटी-छोटी खजूरी के पेड़ ज्यादा देखने को मिलते हैं…और पढ़ें
वैसे तो पूरे छतरपुर जिले में खजूरी के पेड़ 12 महीने पाए जाते हैं लेकिन बरसात के मौसम में इस पेड़ की मांग ज्यादा हो जाती है क्योंकि बरसात के मौसम में छोटी-छोटी खजूरी के पेड़ ज्यादा देखने को मिल जाते हैं और इन्हीं छोटी खजूरी के तने को फल के तौर पर खाया जाता है.
ग्रामीण बताते हैं कि इसके तने का जो स्वाद होता है, वह बिल्कुल कंदमूल और कच्चे नारियल की तरह ही होता है. बरसात का सीजन है, तो इस सीजन में इसका स्वाद सबको भाता है. बच्चों से लेकर युवा और बूढ़े तक इसको खाना पसंद करते हैं.
ज्यादा मात्रा में सेवन से नुकसान
ग्रामीण बताते हैं कि एक व्यक्ति एक बार में इसे 200 ग्राम तक ही खा सकते हैं. अगर इससे ज्यादा खाते हैं, तो यह नुकसान भी कर सकता है क्योंकि इसकी तासीर गर्म होती है.