कांग्रेस पार्टी के नवनियुक्त शहरअध्यक्ष धर्मेंद्र सिंह भदौरिया उर्फ पिंकी एवं ग्रामीण अध्यक्ष रामशेष बघेल।
मध्यप्रदेश कांग्रेस कमेटी ने भिंड जिले में पहली बार दो जिलाध्यक्ष बनाने का फैसला किया है। संगठनात्मक समीकरण साधते हुए पार्टी ने शहर जिलाध्यक्ष की जिम्मेदारी युवा नेता धर्मेंद्र सिंह भदौरिया उर्फ पिंकी को सौंपी है, वहीं ग्रामीण जिलाध्यक्ष की कमान रामश
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पार्टी ने यह नियुक्ति केवल संगठन विस्तार के लिहाज से नहीं बल्कि जातिगत संतुलन साधने की दृष्टि से भी की है। लंबे समय से जिलाध्यक्ष की कमान पिछड़ा वर्ग के हाथों में रही थी। इसको लेकर सामान्य वर्ग के कार्यकर्ता नाराज़गी जताते रहे थे।
इस बार कांग्रेस ने जातीय समीकरण बिगाड़ने से बचते हुए सामान्य वर्ग से पिंकी भदौरिया और पिछड़ा वर्ग से रामशेष बघेल को जिम्मेदारी देकर संदेश देने की कोशिश की है।
पिंकी भदौरिया: जोश से भरे युवा नेता पिंकी भदौरिया पिछले कई वर्षों से कांग्रेस आंदोलनों की अगली पंक्ति में रहे हैं। वे स्वयं की मेहनत पर बड़ी संख्या में कार्यकर्ताओं को जुटाने की क्षमता रखते हैं। उनकी नजदीकी ग्वालियर विधायक सतीश सिकरवार और भिंड के दिग्गज नेता डॉ. गोविंद सिंह से बताई जाती है।
उपनेता प्रतिपक्ष हेमंत कटारे की सहमति से भी पिंकी का नाम आगे बढ़ा। पार्टी का मानना है कि उनका युवा नेतृत्व शहर कांग्रेस में नई ऊर्जा भरेगा।
रामशेष बघेल: पिछड़े वर्ग में मजबूत पकड़ रामशेष बघेल की पकड़ बघेल और कुशवाहा समाज सहित अन्य पिछड़े वर्ग में मजबूत हैं। वे भाड़ेर विधायक फूलसिंह बरैया और डॉ. गोविंद सिंह के घनिष्ठ माने जाते हैं। ग्रामीण कांग्रेस संगठन में उनकी जमीनी पकड़ और अनुभव को देखते हुए उन्हें जिम्मेदारी दी गई है।
राजनीतिक मायने भिंड जैसे संवेदनशील और राजनीतिक रूप से अहम जिले में कांग्रेस का यह प्रयोग सीधे-सीधे 2028 के विधानसभा और 2029 के लोकसभा चुनाव की तैयारी माना जा रहा है। पार्टी का मकसद है कि जातिगत असंतुलन को दूर कर कार्यकर्ताओं की नाराज़गी कम की जाए और दोनों वर्गों को साथ लेकर संगठन को मजबूत किया जाए।