विश्वविद्यालय थाना क्षेत्र में पंजीयन कार्यालय में 150 बीघा से अधिक जमीन की 27 फर्जी रजिस्ट्री कराने का खुलासा हुआ है। फर्जीवाड़ा करने वालों ने जमीन मालिक किसानों के स्थान पर अन्य लोगों को पंजीयन कार्यालय में खड़ा कर फर्जी दस्तावेज से ये रजिस्ट्री
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कंपनी ने जमीन की रजिस्ट्री करने वाले लोगों के नाम से चेक दिए इनमें से 4 लोग ऐसे थे जो मर चुके हैं लेकिन ठगों ने मृत लोगों के नाम के मिलते-जुलते नाम से खाते खोलकर रुपए भी निकाल लिए। इस फर्जीबाड़े में एक कियोस्क सेंटर का संचालक भी शामिल हैं। इसी आरोपी ने जमीन मालिक ग्रामीणों के नाम से फर्जी दस्तावेज बनाकर अपने साथियों के फोटो लगाकर रजिस्ट्री कराने में भूमिका निभाई। प्रकरण की जांच कर रहे एएसआई जगवीर जादौन ने बताया गाजियाबाद की कृष्णा लैंडकॉम कंपनी अपनी अलग-अलग योजनाओं के लिए जमीन खरीदती है।
गिजौर्रा क्षेत्र के किरोल, किटोरा, काशीपुर, हथनौरा, बहादुरपुर व देवगढ़ गांव आदि गांवों के आसपास लगभग 1600 बीघा जमीनें खरीदी हैं। कंपनी के प्रतिनिधि सुरेश कुमार ने जितेंद्र राजपूत के माध्यम से किरोल में लोकेंद्र जाटव पुत्र रामस्वरूप जाटव, अजय पुत्र सुघर सिंह जाटव, मनीष पुत्र लेखराज जाटव, सोनू पुत्र फूलसिंह जाटव तथा विनोद पुत्र गोपाल उर्फ अमोल जाटव से संपर्क किया था।
लोकेंद्र जाटव, अजय जाटव, मनीष जाटव, सोनू जाटव व विनोद जाटव ने सुरेश को गिजौर्रा के किरोल, किटोरा, काशीपुर, बहादुरपुर व अन्य गांवों में जमीन दिखा कर सौदा करा दिया। सीएसपी हिना खान का कहना है कि 150 बीघा जमीन की फर्जी दस्तावेज से 27 रजिस्ट्री कर ठगी का मामला सामने आया है। पांच आरोपियों के खिलाफकेस दर्ज कर मामले की पड़ताल की जा रही है।
रजिस्ट्री में गड़बड़ी के मामले में उप पंजीयकों पर हो चुका केस
रजिस्ट्री में गड़बड़ी के मामले में पंजीयन विभाग में दो उप पंजीयकों पर पहले एफआईआर दर्ज हो चुकी है। चिटफंड कंपनी की रजिस्ट्री के आरोप में निलंबन की कार्रवाई भी हो चुकी है। तीन उप पंजीयक पर आरोप लग चुके हैं। इसके बाद भी पंजीयन विभाग में जमीनों की रजिस्ट्री में फर्जीवाड़ा रुक नहीं रहा है।
उप पंजीयक कैलाश नारायण वर्मा पर विश्वविद्यालय थाने में ही तीन एफआईआर दर्ज हुई हैं। उप पंजीयक मनोज कुमार सिहारे पर लहार में स्टांप ड्यूटी चोरी का मामला है। उप पंजीयक मानवेंद्र भदौरिया पर मृत व्यक्ति की संपत्ति की रजिस्ट्री करने के मामले में हाईकोर्ट ने पुलिस को प्रकरण दर्ज कर जांच के निर्देश दिए हैं।
जमीन पर पहुंचे तो दूसरे किसान मिले कंपनी के प्रतिनिधि सुरेश कुमार जब जमीन देखने पहुंचे जमीन पर खड़े मिले किसान वह नहीं थे जिन्होंने रजिस्ट्रार कार्यालय पहुंचकर रजिस्ट्री की थी। जमीन पर मिले किसानों से जब पूछताछ की तब पता चला कि किसी किसान ने अपनी जमीन नहीं बेची।
सोनू के कियोस्क सेंटर पर बने फर्जी आधार कार्ड जमीन की डील होने के बाद सोनू जाटव के कियोस्क सेंटर से जमीन मालिक किसानों के खसरे से नाम निकाल कर उनके फर्जी आधार कार्ड तैयार किए गए। इसके बाद लोकेंद्र जाटव, अजय जाटव, मनीष जाटव, सोनू जाटव व विनोद जाटव ने सुरेश को जमीन की रजिस्ट्री कराना शुरू किया।
मृत मां-बेटी सहित 4 मृतकों के नाम निकाला पैसा ठगों ने मृत मां-बेटी मखनिया व मक्को बाई सहित मृतक अमना प्रजापति व मुल्ले उर्फ मुल्लू के नाम के खाते खुलवाकर भी जमीन के रुपए डलवा कर निकाल लिए।