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Animal Care Tips: इस नुस्खे की खास बात यह है कि इसमें इस्तेमाल होने वाली सभी सामग्री घर-गृहस्थी में सामान्यतः उपलब्ध रहती हैं। यह सुरक्षित, प्राकृतिक और बेहद कारगर उपाय है. (रिपोर्ट:सावन पाटिल)
निमाड़ क्षेत्र में ग्रामीण जीवन की रीढ़ गाय-भैंस और अन्य दुधारू पशु माने जाते हैं. किसान और पशुपालक इन्हीं पर पूरी तरह निर्भर रहते हैं. घर की रोजमर्रा की जरूरतें दूध से पूरी होती हैं. साथ ही इससे आमदनी भी होती है. लेकिन, कई बार ऐसा होता है कि गाय या भैंस दूध कम देने लगती हैं, जिससे किसान परेशान हो जाते हैं.

बाजार में उपलब्ध महंगे टॉनिक और दवाओं की बजाय, देसी आयुर्वेदिक नुस्खे सस्ते, असरदार और सुरक्षित रहते हैं. आइए जानते हैं एक प्रभावशाली घरेलू नुस्खा, जिससे आपके पशु की दूध देने की क्षमता तेजी से बढ़ेगी.

इस नुस्खे की खास बात ये कि इसमें इस्तेमाल होने वाली सभी सामग्री घर-गृहस्थी में सामान्यतः उपलब्ध रहती हैं. यह सुरक्षित, प्राकृतिक और बेहद कारगर उपाय है.

जरूरी सामग्री: मेथी दाना– 50 ग्राम, सौंफ– 50 ग्राम, अजवाइन – 50 ग्राम, काला नमक – 25 ग्राम, सूखा आंवला पाउडर – 25 ग्राम, हल्दी पाउडर – 25 ग्राम, गुड़ – 100 ग्राम

सबसे पहले मेथी दाना, सौंफ और अजवाइन को हल्का सा भून लें ताकि उनकी खुशबू और गुण खुल जाएं. भूनने के बाद इन्हें ठंडा करके अच्छे से बारीक पीस लें. अब तैयार पाउडर में सूखा आंवला पाउडर, काला नमक और हल्दी पाउडर डालें. अंत में गुड़ के छोटे-छोटे टुकड़े डालकर पूरे मिश्रण को अच्छी तरह मिलाएं.

तैयार मिश्रण को हवा बंद डिब्बे में रखें ताकि यह सुरक्षित रहे. रोजाना सुबह-शाम 30 से 50 ग्राम यह मिश्रण गाय या भैंस के चारे में मिलाकर दें. लगातार 11 दिन तक इसका उपयोग करें.

धीरे-धीरे पशु के स्वास्थ्य में सुधार नजर आएगा और दूध की मात्रा में वृद्धि होगी. खासतौर पर प्रसव के बाद थकावट में यह नुस्खा बेहद असरदार सिद्ध होता है. साथ ही पशु का पाचन भी बेहतर होता है. उनकी प्रतिरोधक क्षमता मजबूत बनती है.

ये नुस्खा प्राकृतिक एवं सुरक्षित. इसमें रसायनिक तत्व नहीं हैं, इसलिए पशु को कोई नुकसान नहीं होता. साथ ही सस्ता व सुलभ है. घर में मिलने वाली सामग्री से बनता है, जिससे महंगे टॉनिक पर खर्च करने की जरूरत नहीं. केवल 11 दिनों में आपको दूध उत्पादन में सुधार नजर आएगा.