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Yashasvi Jaiswal: यशस्वी जायसवाल ने मुंबई के शिवाजी मैदान से टीम इंडिया तक सफर तय किया. एशिया कप में चयन न होने पर वो निराश जरूर थे लेकन आगे की मेहनत जारी रखी. टी20 वर्ल्ड कप 2024 जीतना उनके लिए खास रहा. अब उनकी नजरें वेस्टइंडीज के खिलाफ दो मैचों की टेस्ट सीरीज पर रहेगी.
‘ये सब चयनकर्ताओं के हाथ में’
बेहद गरीबी परिवार से आने वाले यशस्वी जायसवाल मुंबई के चॉल में अपना जीवन बिता चुके हैं. जायसवाल ने इस पूरे मामले पर चुप्पी तोड़ते हुए साफ कहा है कि चयन जैसे फैसले उनके हाथ में नहीं होते और वह सिर्फ मेहनत करके खुद को बेहतर बना सकते हैं. यशस्वी ने मेशेबल इंडिया से बातचीत में कहा, “मैं इस बारे में ज्यादा नहीं सोचता. ये सब चयनकर्ताओं के हाथ में है. टीम कॉम्बिनेशन के हिसाब से फैसले लिए जाते हैं. मेरा काम सिर्फ कड़ी मेहनत करना और खुद को बेहतर बनाना है. जब मेरा समय आएगा सबकुछ अपने आप सही हो जाएगा.”
यशस्वी जायसवाल 23 टी20 इंटरनेशनल मुकाबलों में अब तक 723 रन बना चुके हैं. उनका औसत 36.15 और स्ट्राइक रेट 164.31 का है, जो बताता है कि वह आधुनिक क्रिकेट में कितने खतरनाक बल्लेबाज हैं. आईपीएल 2025 में भी उन्होंने 14 मैचों में 559 रन बनाए. इस दौरान उनका स्ट्राइक रेट 159.71 रहा. इसके बावजूद उन्हें एशिया कप टीम में जगह न मिलने पर क्रिकेट प्रशंसक हैरान रह गए.
‘मैं रुकने वाला नहीं हूं’
इस बीच चयनकर्ताओं ने शुभमन गिल को वापसी का मौका देकर उपकप्तान भी बनाया. इसके चलते संजू सैमसन का बैटिंग ऑर्डर खिसका और जायसवाल व श्रेयस अय्यर को टीम से बाहर रहना पड़ा. जायसवाल ने बातचीत में यह भी बताया कि उन्हें शुरू से ही अपने हुनर पर भरोसा रहा है. “मुझे हमेशा विश्वास रहा कि मैं कुछ बड़ा कर सकता हूं. मैं कभी रुकने वाला नहीं हूं, लगातार मेहनत करता रहूंगा.”
टी20 विश्वकप जीत जीवनभर याद रहेगी
यशस्वी जायसवाल ने इंग्लैंड दौरे का जिक्र करते हुए कहा कि अपने माता-पिता के सामने शतक लगाना उनके करियर का सबसे खास पल रहा. साथ ही उन्होंने दोहराया कि उनका सबसे बड़ा सपना भारत को वर्ल्ड कप जिताना है. “टी20 वर्ल्ड कप 2024 जीतना मेरे लिए बेहद खास रहा. भारत लौटने पर जिस तरह का स्वागत मिला वह जिंदगी भर याद रहेगा.” फिलहाल यशस्वी टेस्ट टीम के नियमित ओपनर बन चुके हैं. उनका अगला मिशन 2 अक्टूबर से अहमदाबाद में शुरू हो रही वेस्टइंडीज के खिलाफ दो मैचों की टेस्ट सीरीज होगी. फैंस को उम्मीद है कि वहां भी वह अपने बल्ले से दमदार प्रदर्शन कर चयनकर्ताओं को दोबारा सोचने पर मजबूर करेंगे.
पत्रकारिता में 14 साल से भी लंबे वक्त से सक्रिय हूं. साल 2010 में दैनिक भास्कर अखबार से करियर की शुरुआत करने के बाद नई दुनिया, दैनिक जागरण और पंजाब केसरी में एक रिपोर्टर के तौर पर काम किया. इस दौरान क्राइम और…और पढ़ें
पत्रकारिता में 14 साल से भी लंबे वक्त से सक्रिय हूं. साल 2010 में दैनिक भास्कर अखबार से करियर की शुरुआत करने के बाद नई दुनिया, दैनिक जागरण और पंजाब केसरी में एक रिपोर्टर के तौर पर काम किया. इस दौरान क्राइम और… और पढ़ें