इस साल 4 लाख हेक्टे. में बोएंगे गेहूं फसल
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सोयाबीन फसल कटाई होते ही अब अगले एक सप्ताह में खाद की मांग अचानक बढ़ेगी। कुल 4.67 लाख हेक्टेयर में बोई जाने वाले रबी सीजन की फसलों के लिए इस साल 1.74 लाख मीट्रिक टन खाद की जरूरत पड़ेगी। जो पिछले साल की तुलना करीब 30 एमटी खाद ज्यादा है।
ज्ञात रहे सोयाबीन फसल की कटाई शुरू हो चुकी है। खेत खाली होते ही किसान सीधे रबी फसलों की बोनी में लग जाएंगे ताकि खरीफ सीजन के आखरी समय में हुई बारिश का फायदा ले सके। अगली फसल के लिए अलग से सिंचाई की जरूरत न पड़े। इसको लेकर अब अगले एक सप्ताह में अचानक तेजी से खाद की डिमांड बढ़ेगी।
खासकर बोवनी के समय डीएपी और सुपर फास्फेट खाद की डिमांड रहेगी। इसको लेकर जिम्मेदारों ने खाद का स्टॉक करने की तैयारी शुरू कर दी है। रकबे के हिसाब से 1 लाख 74 हजार मीट्रिक टन खाद की डिमांड भेज दी है। जो पिछले साल की तुलना करीब 30 मीट्रिक टन ज्यादा है। पिछले साल जिले में 1 लाख 45 हजार मीट्रिक टन खाद की खपत हुई थी।
कुल 4.67 लाख हेक्टेयर के रबी फसल के रकबे में इस साल 4 लाख 1 हजार हेक्टेयर में गेहूं फसल लगाने की अनुमान लगाया गया है। यानी करीब 75 से 80 प्रतिशत रकबे में गेहूं फसल लगेगी। इसी अनुमान के आधार पर खाद की डिमांड तैयार की गई है।
पहली खेप में 1950 एमटी यूरिया मिला नए सीजन में खाद की आपूर्ति के लिए खाद की रैक लगना भी शुरू हो गई। शनिवार को पहली खेप यूरिया की आई, जिसे विक्रम नगर स्टेशन पर रुकवाया गया। पहली रैक में 1950 एमटी यूरिया मिला। 2600 एमटी डीएपी की रैक में से उज्जैन जिले को करीब 1500 एमटी खाद मिलने की उम्मीद है।
किसानों को पर्याप्त खाद उपलब्ध कराएंगे
रबी सीजन में खाद आपूर्ति के लिए डिमांड भेज दी है। खाद की आपूर्ति भी शुरू हो चुकी है। यूरिया के बाद आज या कल ही डीएपी की रैक भी मिलने की उम्मीद है। किसानों को मांग के मुताबिक पर्याप्त खाद उपलब्ध कराएंगे। यूएस तोमर, उप संचालक कृषि