मोहसिन नकवी, वही शख्स जिससे टीम इंडिया के कप्तान सूर्यकुमार यादव ने एशिया कप की ट्रॉफी लेने से इनकार कर दिया था. अब उनकी कहानी खुलकर सामने आ रही है. सीएनएन-न्यूज18 को मिली जानकारी के मुताबिक, मोहसिन नकवी पाकिस्तान में कोई सामान्य शख्स नहीं हैं, उन्हें पाकिस्तानी आर्मी और खुफिया एजेंसियों का पिट्ठू माना जाता है. लेकिन उससे भी दिलचस्प, उनके पाकिस्तान के आर्मी चीफ फील्ड मार्शल असीम मुनीर से बेहद नजदीकी रिश्ते हैं.
इमरान खान के विरोधी
मुनीर के आर्मी चीफ बनने के बाद से ही नकवी की किस्मत बुलंद हो गई. पाकिस्तान के केयरटेकर सेटअप के दौरान उन्हें देश के सबसे बड़े सूबे पंजाब का अंतरिम मुख्यमंत्री बनाया गया. उनके छोटे से कार्यकाल पर मानवाधिकार उल्लंघन, गैरकानूनी छापों और पीटीआई कार्यकर्ताओं की बड़े पैमाने पर गिरफ्तारियों जैसे आरोप लगे. यह सब पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान और उनके समर्थकों के खिलाफ कार्रवाई का हिस्सा बताया गया.
इसके तुरंत बाद, खेल प्रशासन का कोई अनुभव न होने के बावजूद, मोहसिन नकवी को पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (PCB) का चेयरमैन बना दिया गया. उनके नेतृत्व में पाकिस्तान क्रिकेट की हालत बेहद खराब हो गई. इमरान खान के दौर में नंबर 1 पर रही टीम अब रैंकिंग में सातवें स्थान पर पहुंच गई. बाबर आजम और मोहम्मद रिजवान जैसे स्टार खिलाड़ियों को साइडलाइन कर दिया गया, जिससे फैन्स और एक्सपर्ट्स दोनों नाराज हो गए.
करप्शन के भी गंभीर आरोप
सिर्फ मिसमैनेजमेंट ही नहीं, मोहसिन नकवी पर गंभीर करप्शन के आरोप भी हैं. सूत्रों का दावा है कि उन्होंने 250 अरब रुपये से ज़्यादा के कॉन्ट्रैक्ट्स सेना से जुड़ी कंपनियों जैसे फ्रंटियर वर्क्स ऑर्गेनाइजेशन (FWO) और नेशनल लॉजिस्टिक्स सेल (NLC) को बिना किसी टेंडर या ऑडिट के दे दिए. इन कॉन्ट्रैक्ट्स में गद्दाफी स्टेडियम (लाहौर), नेशनल स्टेडियम (कराची) और रावलपिंडी स्टेडियम जैसे बड़े क्रिकेट मैदानों का रिनोवेशन शामिल है. इन्हें चैंपियंस ट्रॉफी की तैयारियों के नाम पर सीधे बांट दिया गया.
सीएम पद से हटे पर रुतबा कम नहीं
मुख्यमंत्री पद से हटाए जाने के बाद भी नकवी का कद घटा नहीं. उन्हें सीनेट में लाया गया और फिर पाकिस्तान का गृह मंत्री बना दिया गया. यह पद उन्हें घरेलू सुरक्षा और विपक्ष पर कंट्रोल का व्यापक अधिकार देता है. आलोचकों का कहना है कि इस नियुक्ति का मकसद इमरान खन और उनकी पार्टी पीटीआई को पूरी तरह से निष्क्रिय करना है.
ब्लैकमेलिंग का धंधा करते हैं नकवी
कई राजनीतिक सूत्रों और विश्लेषकों का दावा है कि मोहसिन नकवी पाकिस्तान की आईएसआई के सिविलियन फ्रंट की तरह काम करते हैं. वे कथित तौर पर मनी लॉन्ड्रिंग, दबाव और ब्लैकमेल का इस्तेमाल कर राजनीतिक नतीजे और अवैध धन जुटाते हैं. ख़ुफ़िया लीक के मुताबिक, COAS असीम मुनीर ने टॉप जनरलों को निर्देश दिया है कि वे नकवी का हर हाल में समर्थन करें और उन्हें व्यापक अधिकार दें, भले ही उनके पास कोई लोकतांत्रिक जनादेश न हो.
क्रिकेट का सिस्टम बर्बाद कर डाला
पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान कई बार नक़वी पर अवैध कार्रवाइयों का मास्टरमाइंड होने और पाकिस्तान के क्रिकेट सिस्टम को बर्बाद करने का आरोप लगा चुके हैं. उन्होंने नक़वी को फौजी तानाशाही का सिविलियन चेहरा तक कह डाला. जैसे-जैसे जनता का गुस्सा बढ़ रहा है, मोहसिन नक़वी की कहानी पाकिस्तान में सेना, ख़ुफ़िया एजेंसियों और नागरिक संस्थानों के गहरे गठजोड़ सामने आ रहे हैं. यह हाइब्रिड शासन, जिसे नकवी जैसे लोग बाहर से चलाते दिखते हैं लेकिन असली कंट्रोल रावलपिंडी से होता है. यह बात सबके सामने आ चुकी है.