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शुभमन गिल को वनडे टीम की कप्तानी मिली, पृथ्वी शॉ ने बर्बाद कर लिया अपना करियर. ऋषभ पंत आईपीएल के सबसे महंगे खिलाड़ी बने इशान किशन को अकड़ ले डूबी.
भारतीय क्रिकेट में कई बार ऐसा हो चुका है जब दो युवा खिलाड़ियों की जोड़ी ने एक साथ अपने दमदार खेल से सबका ध्यान खींचा और उनमें से एक ही इंटरनेशनल क्रिकेट में सफल हुआ. सचिन तेंदुलकर औऱ उनके जिगरी विनोद कांबली से लेकर मौजूदा शुभमन गिल और पृथ्वी शॉ इसका उदाहरण हैं.

ऑस्ट्रेलिया दौरे पर जाने वाली भारतीय वनडे टीम की कप्तानी चयनकर्ताओं ने शुभमन गिल को दी है. रोहित शर्मा को इस पद से हटाने के बाद काफी बवाल हुआ. कोच गौतम गंभीर और मुख्य चयनकर्ता अजीत अगरकर उनको 2027 वनडे वर्ल्ड कप के लिए पूरा वक्त देना चाहते हैं.

शुभमन गिल भारतीय क्रिकेट का भविष्य हैं और ये बात हर कोई मान चुका है. उन्होंने अपने दमदार खेल से सबको प्रभावित किया है. इंग्लैंड दौरे पर उनको टेस्ट की कमान सौंपी गई थी. अब वो वनडे टीम के भी कप्तान हैं. उनके अंडर 19 टीम के कप्तान पृथ्वी शॉ की इंटरनेशनल क्रिकेट में वापसी अब नामुमकिन लगती है.

एक तरफ जहां शुभमन गिल टीम इंडिया के कप्तान बन गए हैं तो वहीं पृथ्वी जिनको दूसरा सचिन तेंदुलकर बताया जा रहा था उनका इंटरनेशनल करियर बर्बाद हो गया. टेस्ट डेब्यू पर शतक और वनडे टीम में एंट्री के बाद वो अपने रवैये की वजह से बाहर हो गए. आईपीएल में किसी टीम ने नहीं खरीदा. मुंबई रणजी टीम से भी बाहर हो गए.

शुभमन गिल और पृथ्वी शॉ जैसा ही हाल ऋषभ पंत और इशान किशन की जोड़ी का है. अंडर 19 टीम में कप्तानी करने वाले विकेटकीपर इशान के साथ खेले पंत की तूती बोलती है. वो आईपीएल टीम के कप्तान हैं और टूर्नामेंट के सबसे महंगे खिलाड़ी. इशान किशन भी अनुशासनहीनता की वजह से टीम इंडिया से बाहर हुए और अब वापसी मुश्किल है.

सचिन तेंदुलकर और विनोद कांबली की कहानी भला किसे नहीं पता. दोनों ने एक साथ जूनियर क्रिकेट में नाम बनाया था. टीम इंडिया में भी जगह बनाई और कांबली को सचिन से ज्यादा टैलेंटेड क्रिकेटर माना जाता था. अनुशासनहीनता की वजह से वो टीम से बाहर हो गए जबकि सचिन तेंदुलकर ने क्रिकेट की दुनिया पर दो दशक तक राज किया.

सचिन तेंदुलकर को क्रिकेट का भगवान कहा जाता है. उनके नाम इंटरनेशनल क्रिकेट में 100 शतक दर्ज हैं. उन्होंने 51 टेस्ट और 49 वनडे शतक जमाया जो एक वर्ल्ड रिकॉर्ड है. इसके अलावा सचिन तेंदुलकर ने करियर में 200 टेस्ट मैच खेले जिसे तोड़ना नामुमकिन जैसा है.