जहरीले कफ सिरप के कारण MP में अब तक 25 बच्चों की मौत हो चुकी है। जहां एक तरफ हर माता-पिता के मन में कफ सिरप को लेकर भय की स्थिति पैदा कर दी है। वहीं, दूसरी ओर दो दिन में दो बच्चे इलाज के लिए भोपाल के हमीदिया अस्पताल पहुंचे हैं। इन दोनों बच्चों को पहल
.
दोनों का इलाज डॉ. सोनी से हुआ इन दोनों बच्चों का इलाज डॉ. प्रवीण सोनी से चला था। जब परिजन बच्चों को लेकर हमीदिया अस्पताल आए तो उन्होंने सबसे पहली बात यही कही कि बच्चों का इलाज डॉ. सोनी ने किया था। जब हमने सुना कि उनके द्वारा लिखा गया कफ सिरप जहरीला निकला है। तब से हम चिंतित थे। यही कारण रहा कि बुखार आने पर सीधे बच्चे को लेकर भोपाल आ गए।
दो दिन में दो बच्चे इलाज के लिए भोपाल के हमीदिया अस्पताल पहुंचे हैं।
यह दो बच्चे आए भोपाल
- बैतूल निवासी 7 वर्षीय किंजल यादव, बुधवार को हमीदिया अस्पताल आई। यहां उसकी खून की जांच के अलावा किडनी फंक्शन टेस्ट कराया गया। रिपोर्ट नॉर्मल आने और 24 घंटे बच्ची को अंडर ऑब्जर्वेशन में रखा गया। जिसमें बच्ची की स्थिति सामान्य मिली। ऐसे में गुरुवार शाम उसे डिसचार्ज कर दिया गया है।
- बैतूल की ही दो वर्षीय थान्या गुरुवार को दोपहर में हमीदिया अस्पताल पहुंची। बच्ची को फिलहाल बुखार आ रहा है। ऐसे में उसे पीडियाट्रिक विभाग के एचडीयू वार्ड में भर्ती किया गया। जहां उसकी जरूरी जांच कराई गईं है। रिपोर्ट आने के बाद स्थिति क्लियर हो सकेगी।

बच्ची की तबीयत बिगड़ने पर भोपाल लाए परिजन
थान्या के पिता नितिन ने बताया कि 23 सितंबर को डॉ. प्रवीण सोनी के पास इलाज कराने गए थे। चार दिन तक डॉ. प्रवीण सोनी द्वारा लिखी गई दवाएं खिलाईं। 27 सितंबर को जब मामला बढ़ने लगा और हमें लगा कि उनके द्वारा लिखी दवाओं से बच्चों की तबीयत बिगड़ रही है, तो हमने सभी दवाएं फेंक दीं।
नितिन ने बताया कि डॉ. सोनी ने सिरप लिखा था, लेकिन कौन-सा था, हमें याद नहीं है। इसके बाद बच्ची घर पर ही थी। अचानक उसकी तबीयत बिगड़ी। पहले उसे बुखार आया, फिर पसलियां चलने लगीं। इसके बाद बैतूल के सरकारी अस्पताल गए, लेकिन बेहतर इलाज के लिए भोपाल आ गए।

एचओडी ने कहा- बच्चियां स्वस्थ हैं पीडियाट्रिक विभाग की एचओडी डॉ. मंजूषा गोयल ने कहा कि दोनों बच्चियां स्वस्थ हैं। एक को डिस्चार्ज कर दिया गया है। दूसरी बच्ची भी एक्टिव है। उसकी कुछ जांच कराई गईं हैं। जैसे ही बच्चे हमारे पास आए थे। हमने तत्काल उन्हें भर्ती कर जांच शुरू कर दी थी। दोनों बच्चों का इलाज आयुष्मान योजना के तहत चल रहा है।
प्रबंधन ने कहा- हमारे डॉक्टर सतर्क हैं हमीदिया अस्पताल के एचओडी डॉ. सुनीत टंडन ने कहा कि हमारे डॉक्टर पूरी तरह सतर्क हैं। अब तक जो भी एडवाइजरी और सलाह सरकार की तरफ से आईं हैं। उनका पूर्ण पालन किया जा रहा है। जो बच्चे हमारे पास इलाज के लिए आए, उनका भी प्राथमिक्ता के साथ उपचार किया गया है।