भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच वनडे सीरीज की शुरुआत होने में 48 घंटे से भी कम समय बचा है. ये दोनों टीमें वनडे फॉर्मेट में जब-जब आमने-सामने आती हैं जबरदस्त मुकाबला देखने को मिलता है. ऐसा लगता है मानो दो दुश्मन देश हैं. दोनों देशों के खिलाड़ी एक दूसरे के ऊपर टूट पड़ते हैं. रिकॉर्ड्स गेंदबाजों के ज्यादा फेवर में रहे नहीं हैं, इस बात का उदाहरण भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच साल 2013 में हुआ वनडे मैच है. 2 नवंबर 2013 को बैंगलोर के एम चिन्नास्वामी स्टेडियम में खेले गए 7 मैचों की सीरीज के आखिरी मुकाबले में हाईवोल्टेज मैच देखने को मिला. दोनों ही देशों के खिलाड़ी ऐसे रन लूट रहे थे, मानों गेंदबाजों से कोई निजी बदला निकाल रहे हैं, आज हम आपको उस ऐतिहासिक मैच के बारे में डिटेल में जानकारी देंगे.
भारत ने रखा 383 रनों का लक्ष्य
भारतीय टीम की तरफ से सलामी बल्लेबाजी करने आए रोहित शर्मा और शिखर धवन अपनी पारी के आगे बढ़ा रहे थे, कि धवन 60 रन बनाकर LBW आउट हो गए. फिर मैदान पर भारत के रन मशीन कहे जाने वाले विराट कोहली आए और दुर्भाग्य से वो भी बिना खाता खोले रन आउट हो गए, लेकिन फिर जो हुआ वो आज भी इतिहास के पन्नों में सुनहरा अक्षरों से दर्ज है. रोहित गुरुनाथ शर्मा ने अपने वनडे करियर का पहला दोहरा शतक बना डाला. उस समय भारतीय क्रिकेट का तीसरा दोहरा शतक. अपनी पारी के दौरान रोहित ने रिकॉर्डतोड़ 16 छक्के और 12 चौके लगाए. बची कसर भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धोनी ने पूरी करते हुए 38 गेंदों में 7 चौके 2 गगनचुंबी छक्के की मदद से 62 रन ठोक डाले. रोहित के 209 की बदौलत भारत का स्कोर 383 रन जा पहुंचा. जो कि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वनडे क्रिकेट में बनाया गया आज भी सबसे ज्यादा स्कोर है.
57 रनों से हारी कंगारु
383 रनों के जवाब में बल्लेबाजी करने उतरी ऑस्ट्रेलिया की शुरुआत बेहद खराब रही. एक समय ऐसा लग रहा था ऑस्ट्रेलिया यह मैच बड़े ही आसानी से हार जाएगी. लगातार एक के बाद एक विकेट गिरते जा रहे थे. ऑस्ट्रेलिया की आधी टीम पवेलियन जा चुकी थी और उनका स्कोर 138/6 था. उसके बाद बल्लेबाजी करना आए ऑलराउंडर जेम्स फॉक्नर उन्होंने ऐसी ताबड़तोड़ पारी खेली, जिसकी भारतीय गेंदबाजों ने कल्पना भी नहीं की होगी. उन्होंने विनय कुमार से लेकर रवींद्र जडेजा अन्य गेंदबाजों को जमकर पीटा और शतक ठोक दिया. आग में घी डालने का काम ग्लेन मैक्सवेल ने किया. मैक्सवेल ने महज 22 गेंदों में चौके और 7 छक्के की मदद से 62 रन ठोक दिए. ये सिलसिला यहीं नहीं थमा. शेन वाटसन ने 22 गेंदों में 49 रनों की तूफानी पारी खेली. मैच फंस चुका था. लग रहा था भारत 383 रन भी नहीं बचा पाएगा, लेकिन एक छोर पर लगातार विकेट गिरता रहा आखिरी में फॉक्नर 116 रन बनाकर शिखर धवन को अपना कैच थमा बैठे और भारत ये रोमांचक मैच 54 रनों से जीत गया.
रोहित-विराट फिर ढाएंगे कहर
एक बार फिर भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच वनडे सीरीज है. इस बार रोहित और विराट का करियर दांव पर लगा है. दोनों ही दिग्गजों के लिए करो या मरो की स्थिति है. 2027 वर्ल्ड कप में अपनी दावेदारी मजबूत करने के लिए इस सीरीज में बेहतर प्रदर्शन करना होगा. ऐसे में देखना दिलचस्प होगा दोनों बल्लेबाजों का क्या प्रदर्शन रहता है.
ये भी पढ़ें: ‘3 शतक भी नहीं बचा…,’ भारत-ऑस्ट्रेलिया की महाजंग से पहले चीफ सेलेक्टर का चौंकाने वाला बयान, क्रिकेट जगत में सनसनी