सोशल मीडिया पर ‘मिस्टर फैक्टिशियन’ नाम की आईडी से एक फर्जी मैसेज वायरल हो रहा है, जिसमें सतना सेंट्रल जेल के कैदियों द्वारा सरकारी खाते से ₹52 लाख की साइबर ठगी करने का दावा किया गया है। मैसेज में यह भी लिखा है कि इस रकम से एक कैदी ने बहन की शादी की औ
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असल में यह घटना उत्तर प्रदेश की आजमगढ़ जेल की है, जिसे सतना का बताकर वायरल किया जा रहा है। सतना जेल अधीक्षक लीना कोष्टा ने एसपी को पत्र लिखकर इस फर्जी मैसेज की जांच कराने और इसे फैलाने वाले पर कार्रवाई करने की मांग की है।
आजमगढ़ की घटना को सतना का बताया दरअसल, उत्तर प्रदेश की आजमगढ़ जेल में कैदियों द्वारा जेल के असिस्टेंट और गार्ड के साथ मिलकर सरकारी खाते से लाखों रुपए निकालने का मामला सामने आया था। इसी घटना को सोशल मीडिया पर सतना जेल का बताकर फर्जी तरीके से पेश किया गया। वायरल मैसेज में लिखा था कि सतना जेल में कैदियों ने साइबर ठगी कर ₹52 लाख उड़ा दिए, जिसमें से ₹25 लाख बहन की शादी में और ₹3.75 लाख बुलेट खरीदने में खर्च किए।
फेसबुक पर ये पोस्ट किया गया है।
जेल अधीक्षक ने एसपी को लिखा पत्र जैसे ही यह फर्जी मैसेज जेल प्रशासन के संज्ञान में आया, हड़कंप मच गया। जेल अधीक्षक लीना कोष्टा ने तुरंत इसकी पड़ताल की और पाया कि सतना जेल में ऐसी कोई घटना नहीं हुई है। उन्होंने बताया, “जो मैसेज सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म में अपलोड किया गया है वह पूरी तरह से निराधार और फर्जी है। इस मामले पर सीएसपी से चर्चा की गई है, साथ ही जांच के लिए एसपी को पत्र भेजा गया है।”
साइबर सेल कर रही फर्जी मैसेज फैलाने वाले की तलाश जेल प्रशासन की शिकायत के बाद पुलिस ने मामले को संज्ञान में लिया है। साइबर सेल की मदद से यह पता लगाया जा रहा है कि यह फर्जी मैसेज किसने बनाया और सोशल मीडिया पर अपलोड किया। पुलिस जल्द ही आरोपी का पता लगाकर उस पर कार्रवाई करेगी।
आजमगढ़ में क्या हुआ था? आजमगढ़ जेल में छूटे कैदियों रामजीत यादव और शिवशंकर यादव ने जेल के अकाउंट ऑफिस में तैनात असिस्टेंट मुशीर अहमद और गार्ड अवधेश कुमार के साथ मिलकर फर्जीवाड़ा किया था। वे जेल अधीक्षक की फर्जी साइन बनाकर चेकबुक से पैसे निकालते थे और आपस में बांट लेते थे। इस मामले में जेल अधीक्षक को सस्पेंड कर दिया गया है और चारों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।