एनजीटी की सख्ती के बाद प्रशासन ने 2 दिन में 139 अतिक्रमण हटाए थे
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22 फरवरी 2024 : भदभदा बस्ती… एनजीटी की सख्ती के बाद प्रशासन ने 2 दिन में 139 अतिक्रमण हटा दिए। कार्रवाई में निगम, पुलिस और प्रशासन की टीमें लगीं। एक झटके में बड़ी कार्रवाई हुई, जिससे बस्ती में हलचल मच गई। कई लोगों ने खुद ही सामान समेट लिया।
15 जून 2025 : टीटी नगर… प्लेटिनम प्लाजा के सामने प्लॉट नंबर 97 से अवैध कब्जा हटाने तड़के 4 बजे 100 से ज्यादा पुलिसकर्मी लगाए गए। दो महीने पहले स्मार्ट सिटी के एई को जान से मारने की धमकी दी गई थी, जिसके बाद यह बड़ी कार्रवाई हुई। चंद घंटे में कब्जे हट गए।
अवैध कब्जे वाले मकानों पर फिर टली कार्रवाई
टीटी नगर स्मार्ट सिटी एरिया में बुधवार को जर्जर मकान ढहने से एक युवक की मौत हो गई। यह मकान भी उन 1203 में शामिल था, जिन पर अब भी अवैध कब्जा है। गुरुवार से बाकी मकान तोड़ने की कार्रवाई होनी थी, लेकिन वह एक बार फिर टल गई। वजह साफ है- स्मार्ट सिटी और प्रशासन में इच्छाशक्ति की कमी। जबकि, भदभदा और प्लेटिनम प्लाजा के प्लॉट नंबर 97 पर जिस तेजी से कार्रवाई हुई थी, वह दिखाता है कि अधिकारी चाहें तो सख्त कदम उठाए जा सकते हैं।
8 साल पहले नॉर्थ और साउथ टीटी नगर में स्मार्ट सिटी के लिए 3146 सरकारी मकानों को खाली कर तोड़ने की जिम्मेदारी पीडब्ल्यूडी को दी गई थी। अब तक 1839 मकान तोड़े जा चुके हैं, जबकि शेष 1203 में से अधिकतर पर अवैध कब्जे हैं। स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट 2022 तक पूरा होना था, लेकिन आज भी जवाहर चौक से माता मंदिर तक खंडहर पड़े हैं। खाली कराए गए क्षेत्रों में गवर्नमेंट हाउसिंग फेज-1, बुलेवर्ड स्ट्रीट, माता मंदिर से टीनशेड तक सड़क चौड़ीकरण और पुराने नूतन सुभाष स्कूल क्षेत्र में निर्माण हुआ है, लेकिन गवर्नमेंट हाउसिंग फेज-2 ठप पड़ा है। दशहरा मैदान के आसपास भी आंशिक तोड़फोड़ ही हो सकी है।
सब्जी ठेले वालों ने जमाया कब्जा
मकानों में अवैध गैस रीफिलिंग जैसे कारोबार भी
इन खाली पड़के मकानो में अवैध गैस रिफिलिंग का कारोबार भी चल रहा है। कई बार प्रशासन की टीम यहां कार्रवाई कर चुकी है। इसके अलावा इन जर्जर मकानों और आसपास की खाली जमीन पर छोटे-छोटे धार्मिक स्थल बन गए हैं। यहां से कब्जे हटाने हैं, लेकिन कहीं ठेले, कहीं धार्मिक स्थल की आड़ लेकर कब्जे और बढ़ते जा रहे हैं। कार्रवाई सिर्फ कागजों तक सीमित है।
मकानों में अवैध गैस रीफिलिंग जैसे कारोबार भी इन खाली पड़के मकानो में अवैध गैस रिफिलिंग का कारोबार भी चल रहा है। कई बार प्रशासन की टीम यहां कार्रवाई कर चुकी है। इसके अलावा इन जर्जर मकानों और आसपास की खाली जमीन पर छोटे-छोटे धार्मिक स्थल बन गए हैं। यहां से कब्जे हटाने हैं, लेकिन कहीं ठेले, कहीं धार्मिक स्थल की आड़ लेकर कब्जे और बढ़ते जा रहे हैं। कार्रवाई सिर्फ कागजों तक सीमित है।
जरूरत के हिसाब से तोड़ते हैं टीटी नगर के मकान तोड़ने का काम कई सरकारी एजेंसियों के समन्वय के बाद होता है। स्मार्ट सिटी की जरूरत के अनुसार मकान तोड़े जा रहे हैं। अभी आधे मकान बचे हैं। -रतन सोमकुंवर, एक्जीक्यटिव इंजीनियर, पीडब्ल्यूडी (न्यू भोपाल डिविजन) इन मकानों को तोड़ने के लिए गुरुवार से अभियान शुरू होना था, लेकिन इसे टालना पड़ा है। एक-दो दिन में बड़ी कार्रवाई करेंगे। -अर्चना शर्मा, एसडीएम जिन मकानों में कर्मचारी निवास कर रहे हैं उनकी संख्या अब बहुत कम है उनको छोड़कर शेष मकान पीडब्ल्यूडी को ही तोड़ना है -रितेश शर्मा प्रभारी सहायक यंत्री स्मार्ट सिटी