बालाघाट में महाबोधि महाविहार प्रबंधन का दायित्व बौद्धों को सौंपने और बीटी एक्ट 1949 को समाप्त करने की मांग को लेकर आंदोलन स्थगित कर दिया गया है। बौद्ध समाज ने 20 जुलाई को शहर में बड़ी रैली निकाली।
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रैली धरना स्थल जनपद पंचायत कार्यालय से शुरू हुई। यह जय स्तंभ चौक, जिला अस्पताल मार्ग, बस स्टैंड, कालीपुतली चौक और पीजी कॉलेज होते हुए अंबेडकर चौक पहुंची। प्रदर्शनकारियों ने डॉ. अंबेडकर की प्रतिमा पर माल्यार्पण किया। रैली बीजेपी कार्यालय के सामने से होकर जय स्तंभ चौक पर समाप्त हुई।
भंते धम्म शिखर पिछले 8 दिनों से केवल गर्म पानी लेकर अनशन पर थे। सामाजिक लोगों के आग्रह पर उन्होंने अपना अनशन समाप्त कर दिया। आंदोलन 10 जुलाई को आंबेडकर चौक से शुरू हुआ था। प्रशासन ने बाद में आंदोलन को जनपद कार्यालय के सामने स्थानांतरित कर दिया।
सामाजिक प्रतिनिधियों के अनुसार 29 जुलाई को न्यायालय से फैसला आने वाला है। उन्होंने कहा कि अगर फैसला पक्ष में नहीं आया तो आंदोलन फिर से शुरू किया जाएगा। बिहार के बोधगया स्थित महाबोधि महाविहार एक ऐतिहासिक विश्व धरोहर है। बौद्ध समाज की मांग है कि इसका प्रबंधन महंतों से वापस लेकर बौद्धों को सौंपा जाए।

