Government won’t sell it in the guise of pandemic | महामारी की आड़ में सरकार रेलवे बेचने में लगी, यह सहन नहीं करेंगे

Government won’t sell it in the guise of pandemic | महामारी की आड़ में सरकार रेलवे बेचने में लगी, यह सहन नहीं करेंगे


रतलाम17 घंटे पहले

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  • वेस्टर्न रेलवे एम्पलाइज यूनियन का मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय में प्रदर्शन

सरकार की नीति कर्मचारियों के हित में नहीं है। महामारी की आड़ में केंद्र सरकार रेल को निजी कंपनियों को बेच रही है। वहीं कर्मचारियों को कम करने की भी तैयारी है। कर्मचारियों में बहुत आक्रोश है। इसे कतई सहन नहीं किया जाएगा। हर स्तर पर पुरजोर विरोध करेंगे। आप लोग तैयार रहें। यह बात वेस्टर्न रेलवे एम्पलाइज यूनियन के मंडल अध्यक्ष एसएस शर्मा ने गुरुवार को मंडल रेल प्रबंधक कार्यालय में हुए प्रदर्शन में कही। मीडिया प्रभारी अशोक तिवारी ने बताया कि दोपहर 12.30 बजे से एक घंटे तक चले प्रदर्शन में 650 से ज्यादा कर्मचारी शामिल हुए। इसमें सरकार की कर्मचारी विरोधी नीतियों , निजीकरण, निगमीकरण का विरोध करने के साथ ही न्यू पेंशन स्कीम को रद्द करने की मांग की गई।

मंडल मंत्री मनोहर बारठ ने न्यू पेंशन स्कीम को कर्मचारियों के साथ धोखा बताया। सहायक मंडल मंत्री ह्रदेश पांडे, नरेंद्र सिंह सोलंकी, सीमा कौशिक, हरीश चांदवानी मंडल, शैलेश तिवारी, रंजीता वैष्णव, दीक्षांत पंड्या ने भी संबोधित किया। गौरव सांगते, कांता तिवारी, सुनील चतुर्वेदी, आशीष यादव, कपिल गुर्जर, आशीष नागदे, हेमंत मिश्रा, मनीष जोशी, राजेश जैन, पंकज पंवार, वैभव उपाध्याय, पल्लव उपाध्याय कपिल सहित बड़ी संख्या में कर्मचारी मौजूद रहे।

3 रेलकर्मियों ने छोड़ी वेस्टर्न रेलवे मजदूर संघ, वेस्टर्न रेलवे एम्प्लाइज यूनियन का थामा दामन

गुरुवार को तीन और रेलकर्मियों ने वेस्टर्न रेलवे मजदूर संघ छोड़ दी है। साथ ही वेस्टर्न रेलवे एम्पलाइज यूनियन द्वारा कर्मचारियों के हित में लगातार किए जा रहे काम से प्रभावित होकर तत्काल यूनियन ज्वाइन कर ली। इनमें भागचंद समदानी, कमल गुर्जर, विनोद मातोड़िया ने गुरुवार को मजदूर संघ छोड़कर एम्पलाइज यूनियन की सदस्यता ले ली है। उधर कद्दावर नेता अशोक तिवारी के वापस यूनियन में आने के बाद से यूनियन के पुराने साथी भी फिर सक्रिय हो गए हैं।

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