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- Five Miscreants Imprisoned In CCTV, First Hidden In Bushes In The Middle Of The Road, Then Leaning Into The Front Lane, Staying In The House Under Construction For 15 Minutes
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इंदौर5 मिनट पहले
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सीसीटीवी में झाड़ियों से निकलकर घर की ओर जाते नजर आए बदमाश।
- ओमेक्स हिल्स में नकाबपोश बदमाशों ने इंजीनियर के घर डाली थी डकैती
बायपास स्थित ओमेक्स हिल्स में गुरुवार रात 1.30 से 2 बजे के बीच हुई डकैती मामले में पुलिस के हाथ कुछ सुराग लगे हैं। क्षेत्र में लगे सीसीटीवी खंगालने पर पांच नकाबपोश बदमाश नजर आए हैं। बदमाश सड़क की दूसरी ओर झाड़ियाें से छिपते हुए घर तक पहुंचे थे। यहां पर उन्होंने इधर-उधर रैकी की और फिर मास्टर-की से मेन गेट का ताला खोलकर इंजीनियर के घर में दाखिल हुए थे। उन्होंने आधा घंटे परिवार को बंधक बनाकर लूटपाट की। हालांकि घर में ज्यादा कैश और गहने नहीं थे। वे दो मोबाइल फोन, तीन हजार रुपए और एक सोने की अंगूठी ले गए हैं।
यह है पूरा घटनाक्रम
राजेंद्र नगर टीआई अमृता सोलंकी के मुताबिक, वारदात इंजीनियर गौरव त्यागी के घर की है। गौरव पीथमपुर की एक कंपनी में मैकेनिकल इंजीनियर हैं। बदमाशों ने सबसे पहले इंजीनियर की 22 वर्षीय भानजी आर्शिया त्यागी को चाकू अड़ाया था। फिर अंदर कमरे में सो रहे इंजीनियर के साले को बंधक बनाया। जब नीचे माल नहीं मिला तो बदमाश ऊपर सो रहे इंजीनियर और उनकी पत्नी गार्गी त्यागी के रूम में पहुंचे। हमले में इंजीनियर, उनकी पत्नी और साले को चोट आई है। पुलिस ने बदमाशों के धार-झाबुआ के होने की आशंका है।

कुत्ते के भाेंकने पर विशाल की आंख खुली थी।
कुत्ते के भौंकने से नींद खुली तो देखा रॉड लेकर अगल-बगल दो लड़के खड़े थे
इंजीनियर के साले विशाल ने बताया – मैं जीजा गौरव के साथ रहता हूं। इंदौर में इलेक्ट्रॉनिक्स आइटम की ट्रेडिंग करता हूं। रात 12.45 बजे भानजी आर्शिया ने घर के मेन गेट को लॉक किया। उसके बाद वह हॉल में सो गई। मैं पीछे वाले रूम में सोया था, जबकि जीजा, बहन और उनके दोनों बच्चे पहली मंजिल पर सोए थे। रात में कुत्ते शूटर के भौंकने से मेरी नींद खुली। मैंने देखा दो लड़के मेरे अगल-बगल खड़े थे। उनकी उम्र 22 से 30 के बीच रही होगी। एक ने नीले-पीले रंग की जैकेट पहन रखी थी। उस पर के इंदौर लिखा था। उन्होंने मेरे गर्दन पर रॉड रखी। बोले वापस सो जा, नहीं तो गोली मार देंगे। फिर उन्होंने पूछा कैश कहां है। मैंने कहा हमारे यहां कैश रखते ही नहीं हैं। इस पर उसने ड्रॉज देखा, उसमें मोबाइल रखे थे, उसे उठा लिया। दो व्यक्ति अलमारी खंगालने लगे। एक ने मेरे दो मोबाइल और तीन हजार रुपए छीने। फिर ऊपर जीजा के कमरे में चले गए। अचानक चिल्लाने की आवाज आई। मैं रूम से बाहर आया। बदमाश चढ़ाव से नीचे उतर रहे थे। उनके पीछे जीजा लहूलुहान दौड़ रहे थे। जीजा को एक बदमाश ने रॉड मार दी थी। मैंने दूसरे नंबर वाले बदमाश को पकड़ लिया, तभी मेरे पीछे आ रहे बदमाश ने मेरे पैर में रॉड मारी। मैंने उसे धक्का दिया तो वह साइड से निकलकर भागा। गिरफ्त में आए बदमाश को छुड़ाने के लिए उसके साथियों ने पथराव कर दिए। दीदी और जीजा बाहर खड़े थे। मुझे लगा कि ये फिर घायल हो जाएंगे, इसलिए उसे छोड़ना पड़ा, तभी एक पत्थर मेरे सिर पर लगा। फिर हमारी आवाज सुनकर सामने वाले शर्माजी और अन्य पड़ोसी जागे। उन्होंने भी बदमाशों का पीछा किया। पड़ोसी हम तीनों को अस्पताल ले गए। आधा घंटे बाद पुलिस आई। यह घटना आधा घंटे तक चली, जिसमें 15 मिनट संघर्ष किया।

भांजी आर्शिया के गले में अड़ा दिया था चाकू।
मैंने बोली थी ऊपर 5-6 लोग हैं, शायद इसलिए हमला होते ही भाग गए
भांजी आर्शिया बोली- वैसे में नोएडा की रहने वाली हूं। मैं सेज यूनिवर्सिटी से मैनेजमेंट का कोर्स कर रही हूं। इसलिए मामा गौरव के घऱ रहती हूं। महाशिवरात्री का व्रत होने पर मैंने 12 बजे फलहार लिया। फिर 12.40 पर सेंट्रल लॉक कर आगे वाले हाल में लेट गई। दिनभर की थकान से मुझे लग रहा था कि कोई सपना देख रही हूं। मुझे लगा कि कोई मेरे पास घूम रहा है। पर मुझे लगा कि सपना है। तभी अचानक नींद खुली तो देखा सच में दो लड़के घूम रहे थे। मैं समझ गई कि ये मामा नहीं है। मैं ओढ़कर सोने का नाटक करने लगी। तभी एक बदमाश मेरे पास आया। गले पर चाकू अड़ाया। बोला सोने का नाटक मत करो, लेकिन चिल्लाना मत। मुझसे बोला कैश कहां है। मैं बोली नहीं है। उसने मेरी अंगूठी देखी और बोला उतार। मैंने दो अंगूठी पहनी थी, लेकिन छुपके से एक गिरा दी और दूसरी उसे दे दी। फिर उसने धमकाया बोला ऊपर कौन है। मैं पहले बोली कोई नहीं फिर झूठ बोला कि 5-6 लोग हैं। फिर मुझे बिस्तर पर बैठाया। एक बदमाश मेरे पास था। दूसरा मामा विशाल के रूम में गया। एक बदमाश गेट पर खड़ा रैकी कर रहा था। एक बदमाश ने कुत्ते शूटर को भी मारा। फिर नीचे वाले बदमाश को छोड़ चारों ऊपर गए। कुछ ही मिनट बाद चिल्ला पुकार हुई। ऊपर से सब भागे। उनके पीछे मेरे मामा खून में लथपथ भागे। फिर उनके साले (विशाल मामा) ने एक बदमाश को पकड़ा और उसे पटक दिया, लेकिन फिर भी बदमाश भाग गए। मुझे लगता है मैंने कहा था कि ऊपर 5-6 लोग हैं, शायद हमला होते ही इसलिए बदमाश भागे कि कहीं ज्यादा लोग घर में ना हो।

हमले में गौरव और पत्नी गार्गी को चोट आई है।
मैडम अंदर जाओ वरना गोली मार देंगे
सामने रहने वाली सरिता पटेल बोली- आवाज सुनकर मैं जैसे ही निकली तो देखा कि एक बदमाश वापस से हमला करने गौरव के घऱ जा रहा था। पिटाई होने के कारण वह गुस्से में था, लेकिन उसका दूसरा साथी उसे घसीट कर ले जा रहा था। तभी उसकी नजर मुझ पर पड़ी। एक हाथ में ईंट थी और दूसरे हाथ की उंगली से इशाराकर मुझे बोला कि मेडम अंदर चली जाओ वरना गोली मार दूंगा। यह सुन में अंदर चली गई।
क्लब के पास ऊंचाई पर लगे एक कैमरे में आया बदमाशों का हुलिया
पड़ोसियों ने बताया कि बदमाशों का हुलिया क्लब के पास काफी ऊंचाई पर लगे एक कैमरे में रिकॉर्ड हुआ है। वे पास की खाली टाउनशिप से आए। रोड के बीच में लगी झाड़ियों में छिपे, फिर दुबकते हुए आगे वाली लेन में गए। 15 मिनट निर्माणाधीन मकान में रहे। शायद वे पीछे से गौरव के घर घुसना चाहते थे, लेकिन मौका नहीं मिला। फिर वे आगे की ओर दीवार से चिपककर आए और घर में घुसे।
छह कैमरे बंद, सिम भी फेंकी, वैशाली नगर की तरफ मिली लोकेशन
टाउनशिप के गेट पर बैठे सुरक्षा कर्मियों ने बताया कि यहां रात में 12 गार्ड रहते हैं। 11 कैमरे लगे हैं। हालांकि छह कैमरे बंद हैं। वारदात से रहवासी दहशत में हैं। अफसरों के अनुसार बदमाश किसी वाहन से आए थे। वे तेजाजी नगर की तरफ भागे। वहां एक मोबाइल की सिम फेंकी। फिर वैशाली नगर तरफ की लोकेशन मिली है।

पुलिस मामले की जांच में जुटी हुई है।
बायपास पर ज्यादा वारदातें, क्योंकि बदमाशों को भागने का मिलता है मौका
पुलिस रिकार्ड के अनुसार अब बायपास की कॉलोनियो में भी ज्यादा वारदातें होने लगी है। लसूड़िया, तेजाजी नगर और कनाड़िया थाना इसमें अव्व्ल हैं। यहां वारदातें इसलिए होती है क्योंकि इन इलाकों से बदमाशों को भागने का मौका मिल जाता है। यदि पुलिस या पीड़ित पीछे भी लगे तो बदमाश चारों तरफ भाग सकते हैं। अनुमानित आंकड़ों की माने तो हर महीने 6 से ज्यादा चोरियां लसूडिया और 4 से ज्यादा चोरियां तेजाजी नगर में होती है।