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- After The Death Of The Patient In Jayaprakash Hospital, The Family And Public Representatives Created A Ruckus, The Doctor Treating The Patient, Yogendra Srivastava, Resigned Alleging Misbehavior
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भोपाल4 घंटे पहले
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जेपी अस्पताल पहुंचे विधायक और उनके समर्थकों के बीच नोकझाेंक हुई।
भोपाल के जयप्रकाश जिला अस्पताल में शनिवार को मरीज की मौत के बाद हंगामा हो गया। परिवार वालों ने डॉक्टरों पर लापरवाही का आरोप लगाया है। इस बीच मरीज का इलाज करने वाले डॉ. योगेंद्र श्रीवास्तव ने अपने साथ दुर्व्यवहार का आरोप लगा कर पद से इस्तीफा दे दिया। वे जेपी अस्पताल में कोरोना के नोडल अधिकारी और मेडिकल स्पेशलिस्ट भी हैं। डॉक्टर का कहना है कि कोरोनाकाल चल रहा है और बेड हैं नहीं। मुझे गालियां खाकर नौकरी नहीं करनी।
श्रीवास्तव ने कहा,’मरीज गंभीर हालत में आया था। उसका ऑक्सीजन सेचुरेशन 30 प्रतिशत था। उसके परिजनों को बता दिया था कि उसको बाहर भी नहीं भेज सकते। मैंने बहुत मेहनत की। फिर भी बचा नहीं सके। इसके बाद बाहर से आए लोगों ने मेरे साथ बदतमीजी करते हुए गाली दी। गाली खाने के लिए नौकरी नहीं करनी। मैं अस्पताल आऊंगा तो भी मेरी मानसिक स्थिति ऐसी नहीं है कि कोरोना मरीजों की देखभाल कर पाऊंगा। मैंने अपना इस्तीफा दे दिया है।’
जानकारी के अनुसार भीम नगर निवासी तख्त सिंह शाक्य (40) को सांस लेने में दिक्कत हो रही थी। परिजन उन्हें लेकर शनिवार रात करीब 12.30 बजे जयप्रकाश अस्पताल पहुंचे। यहां मरीज को भर्ती कर लिया गया। ऑक्सीजन लगाई गई थी। मरीज की कोरोना रिपोर्ट भी निगेटिव थी। मरीज के परिजनों का आरोप है, डॉक्टर मरीज को दूसरे अस्पताल ले जाने के लिए दबाव बना रहे थे। इलाज करने से मना कर रहे थे। आरोप लगाया कि इसके बाद डॉक्टर ने मरीज का ऑक्सीजन का मास्क भी हटा दिया। रात करीब 2.30 बजे मौत हो गई।
वहीं, अस्पताल अधीक्षक राकेश श्रीवास्तव का कहना है, मरीज की हालत गंभीर थी। उसे भर्ती कर इलाज कर रहे थे। उसका ऑक्सीजन सेचुरेशन कम था। इलाज के दौरान मौत हो गई। मरीज का इलाज करने वाले डॉ. योगेंद्र श्रीवास्तव ने इस्तीफा दिया है। हालांकि अभी इस पर निर्णय नहीं हुआ है।
डॉ. योगेश श्रीवास्तव ने लिखित में इस्तीफा दिया।
डॉक्टर के साथ नोकझोंक का वीडियो सामने आया
अस्पताल में डॉ. योगेन्द्र श्रीवास्तव, विधायक पीसी शर्मा व उनके साथ के लोगों की नोकझोंक का वीडियो सामने आया है। इसमें विधायक और उनके साथ के लोग डॉक्टर से बात नहीं करने का कारण पूछ रहे हैं। विधायक कहते हैंं कि आप हमसे बात नहीं करेंगे, तो किससे करेंगे। इसमें डॉक्टर उनको कारण गिना रहे हैं। इसी बीच विधायक समर्थक नाराज होकर चिल्लाते हैं कि आप विधायक से बात नहीं करेंगे, तो किससे बात करेंगे। आप लोगों ने मजाक बना दिया है।
डॉक्टर से बदसलूकी जैसी बात नहीं
पूर्व मंत्री व कांग्रेस विधायक पीसी शर्मा का कहना है कि ‘मुझे मरीज परिजनों ने बताया कि मरीज को डॉक्टर दूसरी जगह रेफर करने की बात कर रहे हैं। मुझसे भी डॉक्टर बात नहीं कर रहे थे। हम सिर्फ जानना चाहते थे कि जेपी में इलाज नहीं मिल रहा है, तो मरीज को कहां ले जाएं। हमीदिया, जेके अधिकतर अस्पतालों में यही हालात हैं। वहां चार मरीज मिले, जिनको अस्पताल में भर्ती नहीं किया जा रहा था। परिजनों ने आरोप लगाया कि मरीज का ऑक्सीजन मास्क डाॅक्टर के हटाने से मौत हुई। जहां तक डॉक्टर से बदसलूकी का सवाल है, तो मैं उनसे आराम से ही बात कर रहा था। मेरे साथ कुछ लोग थे, जिनसे गुस्से में नोंकझोंक हुई। बदसलूकी जैसी कोई बात नहीं है।
सीएम ने कहा- कोरोना योद्धाओं के साथ अनुचित व्यवहार बर्दाश्त नहीं
सीएम शिवराज सिंह चौहान ने सोशल मीडिया के जरिए इस घटना पर प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा, कोरोना संकट के समय में हमारा नैतिक दायित्व है कि हम एक-दूसरे का सहयोग करें और योद्धाओं को सम्मान दें। कोरोना के विरुद्ध लड़ाई में हमारे फ्रंट लाइन योद्धाओं की महती भूमिका है, ये वाॅरियर्स कठिन हालातों में जुटे हैं। इनका सम्मान आवश्यक है। गलत आचरण इनका मनोबल तोड़ेगा। संकट के समय ऐसा आचरण अवैधानिक है। फ्रंट लाइन वर्कर्स के साथ अनुचित व्यवहार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।