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उज्जैन11 मिनट पहले
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- वीआईपी को अनुमति क्यों, आम को क्यों नहीं, मांग- पुलिस निगरानी में कर्म कराने की अनुमति दो
तीर्थ पुरोहितों के घर पर जाकर पुलिस द्वारा किए गए दुर्व्यवहार से ब्राह्मण समाज आक्रोश में है। यह आक्रोश सोमवार को बयानों में जाहिर हुआ। मंगलवार को वे सीधे कलेक्टर से बात करेंगे। पूछेंगे- जब वीआईपी के पिंडदान आदि के लिए तीर्थ पुरोहितों को घर से बुला कर ले जा रहे हो तो आम लोगों पर पाबंदी क्यों? मांग करेंगे कि जिस तरह राशन, मेडिकल आदि को सोशल डिस्टेंसिंग से छूटे दी है, उसी तरह उत्तर कर्म की भी छूट दो। गाइड लाइन के पालन के लिए निगरानी बैठा दो। यदि उल्लंघन होता है तो प्रकरण दर्ज करो।
इन दिनों कोरोना संक्रमण के चलते मौतों की संख्या बढ़ गई है। इधर मृत्यु बाद होने वाले घाट के कर्म कराने पर प्रशासन ने पाबंदी लगा दी है। इसके चलते रविवार को पुलिस प्रशासन ने तीर्थ पुरोहितों के यहां छापेमारी कर कार्रवाई की। अभा ब्राह्मण समाज के अध्यक्ष पं. सुरेंद्र चतुर्वेदी का आरोप है कि पुलिस ने तीर्थ पुरोहितों के परिवार के साथ अपराधियों जैसा बर्ताव किया। अपशब्द कहे। यह किसी भी स्थिति में सहन करने योग्य नहीं है। समाजजन के पास पुलिस के इस दुर्व्यवहार के वीडियो फुटेज हैं। पुलिस की इस अपमानजनक कार्रवाई से पूरा समाज आंदोलित है।
पं. चतुर्वेदी ने बताया कि इस संबंध में कलेक्टर आशीष सिंह से मोबाइल पर चर्चा की है। उन्होंने मंगलवार का समय दिया है। समाज का प्रतिनिधि मंडल कलेक्टर से मिल कर पूछेगा कि पाबंदी है तो वीआईपी परिवारों को क्यों छूट दी जा रही और तीर्थ पुरोहितों को बुला कर कर्म करा रहे। दूसरी बात यह मांग करेंगे कि उत्तर कार्य के लिए छूट दें। केवल दो यजमान और एक तीर्थ पुरोहित गाइड लाइन का पालन कर उत्तर कार्य कराएंगे। इसके लिए पुलिस की निगरानी भी लगा सकते हैं। यदि कोई उल्लंघन करता है तो प्रकरण दर्ज किया जा सकता है। इसके लिए और भी क्या सावधानी हो सकती है, वह पुरोहितों को निर्देश दे सकते हैं।
महामारी की रोकथाम जरूरी, गाइड लाइन तय हो
श्री क्षेत्र पंडा समिति के अध्यक्ष पं. राजेश त्रिवेदी ने बताया कि घर के अंदर जो लोग पूजन करा रहे हैं जिससे तीर्थ पुरोहितों की गरिमा और आत्म सम्मान को तो ठेस पहुंच रही है, साथ ही इस महामारी का प्रभाव उन परिवारों में फैलने का खतरा भी है। हमारे पास मृतक व्यक्तियों के परिवार जन ही पूजन करने के लिए आ रहे हैं। कौन संक्रमित है कौन नहीं है, हमें नहीं पता। हम चाहते हैं जब तक प्रशासन घाट क्षेत्र में स्वीकृति प्रदान ना करें उज्जैन शहर में, बाहर का कोई भी व्यक्ति प्रवेश न कर पाए। नगर के वह लोग जिन्हें अपने मृतक परिजन के लिए उत्तर कर्म करना है, उनके लिए अलग से कोई गाइडलाइन प्रशासन दे। जिससे उनके तीर्थ पुरोहित गण जो नगर में हैं वह उनका पूजा विधान करा सकें।
तीर्थ पुरोहितों की संस्थाएं विरोध में, आंदोलन की चेतावनी, बोले-दोषी पुलिस कर्मियों पर कार्रवाई करें
श्री अवंतिका महाकाल तीर्थ पुरोहित समिति के अध्यक्ष अजय गुरु (कुंड वाला) ने मुख्यमंत्री,धर्मस्व मंत्री, सांसद अनिल फिरोजिया को भी पत्र देकर उत्तर कर्म कराने की अनुमति की मांग की है। महामंडलेश्वर आचार्य शेखर ने ब्राह्मणों की मांग का समर्थन किया है। श्री अवंतिका महाकाल युवा तीर्थ पुरोहित समिति रामघाट, श्री क्षेत्रीय पंडा समिति अध्यक्ष मोहन डंडावाला, अभा तीर्थ पुरोहित महासभा अध्यक्ष अमर डब्बावाला, कार्तिक चौक मंडल अध्यक्ष हेमंत वर्मा, तीर्थ पुरोहित समिति सदस्य आनंद जोशी लोटावाला भी यह मांग की है।
कार्तिक चौक क्षेत्र के कर्मकांडी पंडे, पुजारियों के घर में घुस कर पुलिस द्वारा अभद्रता की संयुक्त ब्राह्मण सामाजिक कल्याण समिति ने निंदा करते हुए एसपी सत्येंद्र शुक्ला को ज्ञापन सौंपा। अध्यक्ष पं. मनोज अजय रावत एवं सचिव पं. अजय शंकर तिवारी ने मांग की कि ऐसी घटना की पुनरावृत्ति न हो। दोषी पुलिस टीम को बर्खास्त किया जाए। ब्राह्मण समाज के युवाओं का प्रतिनिधि मंडल एसपी सत्येंद्र शुक्ला के पास पहुंचा। पूरा घटनाक्रम एसपी के समक्ष रखा। पं संचित शर्मा व अंकित चौबे के अनुसार प्रशासन समन्वय से उत्तर कार्य कराने की अनुमति दे। शहर कांग्रेस के कार्यवाहक अध्यक्ष विवेक यादव ने भी घटना की निंदा करते हुए कलेक्टर से ब्राह्मणों को अनुमति देने की मांग की।