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भोपाल5 घंटे पहले
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राजधानी भोपाल में 4 अगस्त से मानसून सक्रिय दिखाई दे रहा है। गुरुवार को बड़े तालाब के ऊपर छाए काले बादल अच्छी बारिश का संकेत देते दिखाई दे रहे हैं। फोटो – शान बहादुर
- प्रदेश में जुलाई के महीने में हुई कम बारिश का असर
- आगामी 24 घंटों में कई जिलों में भारी बारिश की चेतावनी
भोपाल जिले में अब तक औसत से 90 मि.मी कम बारिश हुई है। 1 जून से 6 अगस्त तक 420.38 मिमी बारिश हुई है। वहीं पिछले साल इसी अवधि में 510.63 मिमी बारिश हुई थी। प्रदेश में जुलाई में हुई कम बारिश का असर यह रहा कि प्रदेश के लगभग 20 जिले ऐसे हैं, जहां आज की स्थिति में सामान्य से कम पानी बरसा है। वहीं, प्रदेश की औसत बारिश 13% कम है। हालाकि मौसम विभाग मानना है कि अगस्त और सितंबर के महीने में अच्छी बारिश के संकेत हैं।
भोपाल में गुरुवार को सुबह 8:30 बजे की स्थिति में 4.64 मिमी औसत बारिश रिकॉर्ड की गई है। जिले में इस साल 1 जून से 6 अगस्त तक 420.38 मिमी औसत बारिश हुई।अधीक्षक भू-अभिलेख ने बताया कि अब तक बैरागढ़ में 596.70 मि.मी, बैरसिया में 312.44 तथा कोलार में 352.00 मि.मी. बारिश रिकॉर्ड की जा चुकी है। गत वर्ष इसी अवधि में 510.63 मि.मी. वर्षा रिकार्ड की गई थी।

भोपाल में बुधवार को देर शाम को आधे तेज पानी गिरा। इससे गर्मी से राहत मिली है। तस्वीर बोर्ड ऑफिस चौराहे की है। फोटो- अनिल दीक्षित
मध्यप्रदेश में भारी से अति भारी बारिश की चेतावनी
दक्षिण पश्चिम मानसून के एक बार फिर मध्यप्रदेश में सक्रिय हो जाने के चलते राज्य के अधिकतर स्थानों पर हो रही बारिश के बीच आगामी 24 घंटे के दौरान रीवा, सतना कटनी, छिंदवाड़ा, सागर, सिवनी, दमोह, छतरपुर, टीकमगढ़, होशंगाबाद, बैतूल, अलीराजपुर, झाबुआ, धार, शाजापुर, आगर, गुना, अशोकनगर, ग्वालियर और श्योपुरकलां के अधिकांश इलाकों भारी से अति भारी बारिश की चेतावनी जारी की गई है।
राजधानी में गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना
राजधानी भोपाल तथा उसके आसपास के क्षेत्र में कल रात में कुछ देर की लिए हल्की से मध्यम वर्षा हुयी। सुबह से आसमान में बादल छाए रहे, दोपहर बाद हल्की बौछारें पड़ी। इसके चलते यहां मौसम में गर्मी से राहत रही। अगले 24 घंटों के दौरान बारिश या गरज चमक के साथ बौछारें पड़ने के आसार हैं।
दक्षिणी पश्चिम क्षेत्र के ऊपर बन रहा है कम दबाव का क्षेत्र
मौसम विज्ञान केन्द्र भोपाल के वैज्ञानिकों के अनुसार इस समय प्रदेश के दक्षिण पश्चिमी क्षेत्र के ऊपर निम्न दाब का क्षेत्र बना है, जो चक्रवातीय परिसंचरण के साथ सक्रिय है, यह समुद्र तल से 3.6 किमी ऊंचाई तक है। वहीं एक ‘ट्रफ’लाइन गुजर रही है तथा कोंकण-गोवा में भी एक चक्रवात बना है। इसी के चलते अगले 24 घंटे के दौरान प्रदेश के उत्तर पूर्वी हिस्सों तथा पश्चिम के कुछ इलाकों में भारी से अति भारी वर्षा हो सकती है।
बीते दो दिन में यहां इतनी बारिश रिकॉर्ड
पिछले दो दिन से प्रदेश में सक्रिय मानसून के चलते अनेक स्थानों पर कहीं भारी, तो कहीं हल्की बारिश हुई। पिछले 24 घंटे में होशंगाबाद में सबसे अधिक 114.5 मिमी, बैतूल में 30.2 मिमी, ग्वालियर में 21.3 मिमी, इंदौर में 26.0 मिमी, पचमढ़ी में 28.4 मिमी, छिंदवाड़ा में 62.0 मिमी, दमोह 29.0 मिमी, खजुराहो 32.8 मिमी, टीकमगढ़ 28.0, मिमी, रायसेन 53.6 मिमी, उमरिया में 38.2 मिमी, सिवनी में 45.2 मिमी, मंडला में 42.0 मिमी, उज्जैन में 23.0 मिमी के अलावा राजधानी भोपाल समेत कुछ अन्य स्थानों पर भी बारिश हुई है।
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