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- Madhya Pradesh Crop Damage Due To Rain In Khandwa Shajapur; Farmer And MLAs On Shivraj Singh Chauhan Government
इंदौर/खंडवा/शाजापुर32 मिनट पहले
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विधायक राम दांगोरे किसानों के साथ धरने पर बैठकर जानकारी लेते हुए।
- खंडवा और शाजापुर में सर्वे करवाकर मुआवजा दिलवाने की मांग लेकर पहुंचे किसान, सड़क पर बैठ दिया धरना
- किसान बोले – अगर फसल नहीं आई तो वह ना तो कर्ज खत्म कर पाएंगे और ना ही अपना पेट भर पाएंगे
पिछले दिनाें प्रदेश में भारी बारिश के बाद खराब हुई फसलों के मुआवजे की मांग अब जोर पकड़ती जा रही है। ठीक से सर्वे नहीं होने से नाराज किसान अब आंदोलन का रास्ता अपनाने की ओर कदम बढ़ा चुके हैं। इसी कड़ी में किसान शुक्रवार को खंडवा और शाजापुर में किसान सर्वे और मुआवजे की मांग को लेकर कलेक्ट्रेट कार्यालय पहुंचे। कोरोना के कारण खंडवा में कलेक्टर के दफ्तर से बाहर आकर नहीं मिलने पर भड़के किसान धरने पर बैठ गए। उनके साथ विधायक भी बैठे दिखाई दिए। विधायक ने कहा कि यदि मेरे विस क्षेत्र में अधिकारी किसानों की नहीं सुन रहे तो ऐसे अधिकारी की जरूरत नहीं है। वहीं, शाजापुर में किसानों ने सर्वे कराने और मुआवजा राशि को लेकर कलेक्ट्रेट परिसर में खराब फसल लेकर धरना दिया।

किसानों का आरोप हमारी फसल पूरी तबाह हो गई, लेकिन कोई सुनने वाला नहीं है।
कोरोना के कारण दफ्तर से बाहर नहीं आए कलेक्टर, भड़के किसान
खंडवा के कलेक्टर कार्यालय में किसान खराब फसलों की शिकायत लेकर पहुंचे थे। किसानों की मांग थी कि उनको खराब फसलों का सर्वे कर मुआवजा दिलाया जाए, लेकिन कोरोना के कारण कलेक्टर ने बाहर आकर किसानों से मिलने से इनकार कर दिया। उन्होंने कुछ किसानों को दफ्तर मे आकर अपनी समस्या बताने को कहा। इस पर किसान भड़क गए और उन्होंने पंधाना विधायक राम दांगोरे को फोन लगा दिया। इस पर विधायक भी कलेक्टर कार्यालय पहुंचे और किसानों के साथ धरने पर बैठ गए। धरने पर बैठे किसानों ने कलेक्टर कार्यालय में ही भजन-कीर्तन शुरू कर दिया। किसानों का आरोप है कि कलेक्टर ना तो किसानों से मिलते हैं और ना ही आम लोगों से। कलेक्टर ने किसानों की समस्या सुनने के बजाय उनको कार्यालय से चले जाने को कह दिया।
विधायक बोले – मेरे क्षेत्र में 80 फीसदी फसल खराब
भाजपा विधायक राम दांगोरे ने कहा कि मेरे विस क्षेत्र में 80 फीसदी से ज्यादा फसल खराब हुई है। जो अधिकारी खराब फसल का पंचनामा बना रहे हैं वे किसानों के प्रति सहनुभूतिपूर्वक बर्ताव करें। किसान जो भी पक्ष रख रहे हैं, उन्हें संतुष्ट करना अधिकारियों की जवाबदेही है। मेरे क्षेत्र में यदि किसी अधिकारी की किसानों से गलत बर्ताव की शिकायत आती है तो ऐसे अधिकारी की मेरे विधानसभा में कोई आवश्यकता नहीं है। मैं तत्काल उसका तबादला करवाकर कहीं भी भिजवा दूंगा। कलेक्टर के किसानों से नहीं मिलने के सवाल पर कहा कि कोरोना के कारण उन्होंने ऐसा कहा था। उन्होंने कहा कि यदि किसान अंदर आकर मिलना चाहें तो आ जाएं।

शाजापुर में किसान खराब फसल लेकर पहुंचे।
शाजापुर में सूखी फसल रख दिया धरना
यही, हालात शाजापुर कलेक्ट्रेट कार्यालय में देखने को मिले। बारिश के बाद बर्बाद फसल लेकर पहुंचे किसानों ने बताया कि जो सोयाबीन की फसल खड़ी है, उसमें एक फल भी दिखाई नहीं दे रहा है। पत्तियां भी इल्लियां चट कर गई हैं। किसानों ने सड़क पर सूखी फसल रखते हुए प्रशासन से मांग की कि जल्द पटवारी सर्वे करें और मुआवजा राशि उपलब्ध करवाई जाए। साथ ही बीमा राशि भी दिलवाने की मांग की।
एसडीएम के समझाइश पर किसानों ने धरना खत्म किया
किसानों ने कलेक्ट्रेट परिसर में जमकर नारेबाजी भी की। कृषि विज्ञान अधिकारी डॉक्टर कायम सिंह ने मौके पर पहुंचकर किसानों को फसल संबंधित जानकारी दी और इल्ली से बचाव के तरीके बताए। एसडीएम ने जल्द सर्वे कराकर रिपोर्ट पेश करने की बात किसानों से कही। जिस पर किसानों ने एसडीएम की बात मानकर अपना धरना खत्म कर दिया। किसानों ने कहा कि अगर फसल नहीं आई तो वह ना तो कर्ज खत्म कर पाएंगे और ना ही अपना पेट भर पाएंगे।

एसडीएम की समझाइश के बाद घर लौटे किसान।
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