कृषि मंत्री कमल पटेल ने कहा कि राहुल गांधी ने चुनाव के समय कहा था कि 10 दिन में यदि सभी किसानों का 2 लाख तक का कर्ज माफ नहीं हुआ तो 11वें दिन मुख्यमंत्री बदल जाएगा, लेकिन 15 महीने तक ना कर्जमाफी हुई और ना ही मुख्यमंत्री बदला. जो काम राहुल गांधी ने नहीं किया, उसे ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कर दिया. राहुल गांधी ने सिर्फ बोला, लेकिन सिंधिया ने कर दिखाया.
स्वाभिमानी लोग बीजेपी में आ गए और कांग्रेस में…
कृषि मंत्री कमल पटेल यहीं नहीं रुके. उन्होंने कहा कि 6 मंत्री और 22 विधायक, जिन्होंने धोखेबाज कांग्रेस को धक्का देकर सत्ता से हटाया, वे सच्चे नेता हैं, जो कहते हैं, वो करते हैं. इन्होंने कमलनाथ से कई बार विधायक दल की बैठक में कहा कि जो वादे किए उसे पूरे करो. कमलनाथ कहते थे कांग्रेस ने कभी वादे पूरे किए हैं क्या? इंदिरा गांधी ने कौन से गरीबी हटाने का वादा पूरा किया? राजीव गांधी, मनमोहन ने कौन से वादे पूरे किए? अब तो सत्ता आई है मजे करो, खाओ, पीयो लूटो. इन्होंने कहा कि हम लूटने नहीं सेवा करने आए हैं, इसलिए कमलनाथ पर उन्हीं की पार्टी के नेताओं का विश्वास उठ गया और जो स्वाभीमानी लोग थे, सच्चे लोग थे वो लोग कांग्रेस को छोड़कर बीजेपी में आए, जो दल्ले थे, जो स्वार्थी थे, जो झूठ बोलने के आदी हैं वो कांग्रेस में रह गए. इसलिए कांग्रेस के ऊपर किसी का विश्वास नहीं है, कांग्रेस खत्म है.ये भी पढ़ें: लालू प्रसाद को सताई रामविलास पासवान की याद, बेल की खुशी गायब, समर्थकों से भी हुए
लगाया ये आरोप
कृषि मंत्री ने आरोप लगाया कि कमलनाथ मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री तो रहे, लेकिन उन्हें छिंदवाड़ा के अलावा कुछ नहीं दिखता. बैंड बजाने की ट्रेनिंग, ढोर चराने की ट्रेनिंग देने के लिए कॉलेज छिंदवाड़ा में खोला है. कमलनाथ ने 15 महीने में इतना लूटा कि अब हमेशा के लिए कांग्रेसी बेरोजगार हो गए. उन्हें अब कमलनाथ ही रोजगार देंगे. जीतू पटवारी समेत सभी कांग्रेसी एकत्रित होकर छिंदवाड़ा जाएं और वहां ढोर चराएं और बैंड बजाएं. कृषि मंत्री कमल पटेल अपने विवादास्पद बयानों के जरिए हमेशा चर्चाओं में बने रहते हैं, लेकिन अब देखने वाली बात ये होगी कि कांग्रेस कृषि मंत्री के आरोपों का जबाव किस रूप में देती है.