लोग है कि मानते नहीं: इंदौर में 546 नए केस, दिसंबर के 4 दिनों में ही 2227 मरीज मिले, 5 लाख से ज्यादा टेस्ट में मिले 44918 पॉजिटिव, 779 की जान गई

लोग है कि मानते नहीं: इंदौर में 546 नए केस, दिसंबर के 4 दिनों में ही 2227 मरीज मिले, 5 लाख से ज्यादा टेस्ट में मिले 44918 पॉजिटिव, 779 की जान गई


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इंदौर2 मिनट पहले

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निगम चालानी कार्रवाई के साथ ही हाथ जोड़कर मास्क लगाने की समझाइश भी दे रहा है।

कोरोना के केस कम होने का नाम ही नहीं ले रहे हैं। लगातार 14वें दिन 500 से ज्यादा केस सामने आए हैं। नए पॉजिटिव केस 546 और 3 की मौत हो गई। दिसंबर के 4 दिनों में ही 2227 नए संक्रमित और 16 मौतें हो चुकी हैं। 15 दिनों में 8295 पॉजिटिव निकले और 53 मौतें हुई। इंदौर में 4942 एक्टिव मरीजों की संख्या हो चुकी है। अब तक जिले में 779 की मौत हो चुकी है। वहीं, संक्रमित हुए 44918 मरीजों में से 39197 ठीक हो चुके हैं। देर रात 5164 लोगों की टेस्ट रिपोर्ट आई, जिसमें से 4587 निगेटिव पाए गए। अब तक 5 लाख 33 हजार 292 लोगों की टेस्ट रिपोर्ट आ चुकी की।

197 क्षेत्र में मिले संक्रमित, सुदामा नगर सबसे संक्रमित
देर रात 197 क्षेत्रों से संक्रमित मिले हैं। सुदामा नगर में 16 नए संक्रमित मिले हैं। विजय नगर में 13, ऊषा नगर एक्टेंशन में 11, राजेंद्र नगर में 9, गुमाश्ता नगर में 8, तिलक नगर में 7, चंदन नगर, खजराना और सुखलिया में 6-6 संक्रमित मिले हैं। इसके अलावा बंगाली चौराहा, एमआईजी, गोयल कॉलोनी, गोपाल बाग माणिक​​​​ बाग रोड, कनाडिया और अन्नापूर्णा में 5-5, मानिक बाग कॉलोनी, नवलखा, रूप राम नगर, प्रेम नगर, गणेश नगर, द्वारिकापुरी, संयोगितागंज, एयरपोर्ट रोड, सिलिकॉन सिटी, एरोड्रम थाना, छोटी ग्वाल टोली, बाणगंगा, स्कीम नंबर 78, सीएसडब्ल्यू बीएसएफ एयरपोर्ट रोड, लसुड़िया और जेल रोड में 4-4 मरीज मिले हैं।

दो माह में हाेम आइसालेशन वाले 313 मरीजों को अस्पताल में भर्ती करना पड़ा
जिले में कोरोना संक्रमित मरीजों (उपचाररत) की संख्या पौने पांच हजार हो चुकी है। इनमें 70 फीसदी घर में ही इलाज करा रहे हैं। 10 अक्टूबर से अब तक 313 मरीज ऐसे थे, जिन्हें तबीयत बिगड़ने पर अस्पताल शिफ्ट किया गया। अब तक 22 हजार से ज्यादा का इलाज होम आइसोलेशन में किया जा चुका है। स्वास्थ्य अधिकारियों के अनुसार आरटीपीसीआर जांच में 313 को तबीयत खराब होने पर होम आइसोलेशन टीम ने भर्ती करवाया।

होम आइसोलेशन शाखा की व्यवस्था संभाल रहे डॉ. सुनील गंगराड़े ने बताया रैपिड एंटीजन जांच में पॉजिटिव आने वाले 648 मरीजों को भर्ती करवाया जा चुका है। ये वे मरीज हैं जिन्हें बुखार व सांस लेने में तकलीफ हुई। रैपिड एंटीजन जांच से पॉजिटिव आने पर यदि मरीज को होम आइसोलेट किया जाता है तो उसकी जानकारी पोर्टल पर नहीं आ रही। इतना ही नहीं, ज्यादातर मरीजों तक होम आइसोलेशन की टीम नहीं पहुंच पा रही। मरीजों की तादाद बढ़ने और रैपिड एंटीजन जांच में पॉजिटिव आने वाले मरीज छूट रहे हैं।

रिपीट पॉजीटिव मरीजों की संख्या भी बढ़ी
नए संक्रमितों की संख्या के साथ ही रिपीट पॉजीटिव मरीजों की संख्या में भी इजाफा हो रहा है। रिपीट पॉजीटिव का मतलब ऐसे मरीजों से है, जिनकी दूसरी या तीसरी कोविड-19 जांच रिपोर्ट भी पॉजीटिव आ रही है। दस दिन आइसोलेशन या अस्पताल में इलाज के बाद भी रिपोर्ट पॉजीटिव मिल रही है। 21 नवंबर से 3 दिसंबर के आंकड़े देखें तो 500 से ज्यादा रिपीट पॉजीटिव के मामले सामने आ चुके हैं। यानि तय प्रोटोकॉल के तहत निर्धारित दिनों में उनके शरीर से कोरोना वायरस गया नहीं। नवंबर से ही इनकी संख्या बढ़ना शुरू हो गई थी। डॉक्टरों के अनुसार कुछ ऐसे भी मरीज है जिनकी रैपिड एंटीजन जांच रिपोर्ट पॉजीटिव आई और उन्होंने आरटीपीसीआर जांच भी करवाई। कुछ तो खुद के खर्च पर निजी सेंटर्स पर जांच करवा रहे हैं। रोजाना 30-40 रिपीट पॉजीटिव आ रहे हैं।



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