बालाघाट जिले की लांजी तहसील के थानेगांव में नल-जल योजना के तहत बनी पानी की टंकी के धंसक कर गिर गई। मामले में कलेक्टर मृणाल मीना ने कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। टंकी के घटिया निर्माण की जांच के लिए एक टीम का गठन भी किया है।
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इस मामले में पीएचई के कार्यपालन यंत्री बी.एल. उईके ने टंकी का निर्माण करने वाले ठेकेदार मे. रायसिंह एंड कंपनी के मालिक दिलीप पटेल के खिलाफ लांजी थाने में एफआईआर दर्ज कराई है। साथ ही निर्माण कार्य की देखरेख में लापरवाही बरतने के आरोप में उपयंत्री बी.एल. उद्दे को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है। उन्हें पीएचई परियोजना मंडल छिंदवाड़ा से अटैच किया गया है।
शुक्रवार को हुई जनपद पंचायत की बैठक में भी यह मुद्दा जोर-शोर से उठा, जहां पूरी 75.08 लाख रुपए की योजना में हुए नुकसान की बात कही गई।
सांसद और विधायक ने किया निरीक्षण
टंकी गिरने की खबर मिलने के बाद सांसद भारती पारधी और विधायक राजकुमार कर्राहे ने मौके पर पहुंचकर निरीक्षण किया। सांसद भारती पारधी ने इस घटना को “शर्मनाक” बताते हुए कहा कि टंकी का निर्माण पूरी तरह से घटिया गुणवत्ता का था। इस मामले की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए। वहीं विधायक राजकुमार कर्राहे ने बताया कि टंकी का बेस (आधार) भी सही नहीं बनाया गया था। ग्रामीणों ने पहले ही इसकी शिकायत की थी।
लोकार्पण से ठीक पहले गिरी टंकी
बता दें कि यह पानी की टंकी 28 अगस्त की शाम भरभराकर गिर गई थी। गनीमत रही कि उस वक्त वहां कोई मौजूद नहीं था, वरना बड़ा हादसा हो सकता था। यह और भी चौंकाने वाली बात है कि आज शुक्रवार को इसी टंकी के पास बने उप-स्वास्थ्य केंद्र का लोकार्पण होना था।
इस घटना के बाद पीएचई विभाग ने पॉलिटेक्निक कॉलेज के प्राचार्य से टंकी की गुणवत्ता की जांच रिपोर्ट मांगी है। ठेकेदार को इस काम के लिए 16 लाख 08 हजार रुपए का भुगतान किया जाना था, जिसमें से आधी से ज्यादा राशि पहले ही दी जा चुकी है।
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