Women are allowed to work in factories even at night | कारखानों में महिलाओं को रात में भी काम करने की इजाजत; पर्याप्त सुरक्षा के साथ कर सकेंगी काम

Women are allowed to work in factories even at night | कारखानों में महिलाओं को रात में भी काम करने की इजाजत; पर्याप्त सुरक्षा के साथ कर सकेंगी काम


भोपाल4 मिनट पहले

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फाइल फोटो

  • मद्रास हाईकोर्ट ने मौलिक अधिकारों की बात कहते हुए रात्रि की शिफ्ट में काम करने की स्वीकृति दी
  • राज्य सरकार ने पर्याप्त सुरक्षा के साथ महिलाओं को रात्रि 8 से सुबह 6 बजे तक कारखानों में काम करने की इजाजत दी

महिलाओं को रात्रि की शिफ्ट में पर्याप्त सुरक्षा के साथ काम करने की इजाजत दी गई है। मद्रास हाईकोर्ट ने महिला कर्मचारियों के लिए मौलिक अधिकारों की बात कहते हुए रात्रि की शिफ्ट में काम करने की स्वीकृति दी है। इसके बाद राज्य सरकार ने पर्याप्त सुरक्षा के साथ महिलाओं को रात्रि 8 से सुबह 6 बजे तक कारखानों में काम करने की इजाजत दी है। इसके लिए संशोधित अधिसूचना भी जारी की गई है। इसमें काम के घंटे भी स्पष्ट किए गए हैं।

राज्य सरकार ने विधानसभा का सत्र न होने की वजह से 22 जुलाई 2020 को अधिसूचना जारी कर कारखाना अधिनियम 1948 की धारा (5) में मिली शक्तियों को प्रयोग में लाते हुए कर्मचारियों के दैनिक काम के समय का प्रावधान किया था। यह तीन महीने के लिए था। चूंकि श्रम संबंधी विषय संवर्ती सूची में होने के कारण इनमें संशोधन सिर्फ केंद्र की सहमति के बाद राज्य विधानसभा से पारित करवाकर हो सकता है। लेकिन चूंकि विधानसभा सत्र न होने से इसे राज्यपाल के पास भेजा, जहां से इसे राष्ट्रपति के पास भेजा जाना था।

ये हैं प्रावधान

  • किसी भी कर्मचारी से दिन में 12 घंटे और सप्ताह में 72 घंटे से ज्यादा काम नहीं कराया जा सकता।
  • काम के 8 घंटे तय रहेंगे, लेकिन इसके बाद कर्मचारी से काम करवाया जाता है तो उसे ओवर टाइम देना होगा।
  • ओवर टाइम किसी कर्मचारी के लिए बाध्यकारी नहीं होगा।

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